नगर पंचायत की पहली बैठक में तकरार बिना प्रस्ताव पारित हुई बैठक स्थगित
नालंदा न्यूज़: स्थानीय नगर पंचायत की पहली बैठक काफी हंगामेदार रही. बैठक में पार्षदों के बीच टकरार हुई. पहली बैठक में ही गुटबाजी दिखी. कुछ ही देर में 11 में से सात वार्ड पार्षदों ने बैठक का बहिष्कार करते हुए सदन से बाहर चले गए. इसके चलते कोरम पूरा नहीं होने पर कार्यपालक पदाधिकारी सह बीडीओ उषा कुमारी को यह बैठक स्थगित करनी पड़ी. कई पार्षदों ने विभागों के अधिकारियों के नहीं आने का मुद्दा उठाया तो कई ने सशक्त स्थाई समिति के गठन में राय नहीं लिए जाने पर नाराजगी जतायी. कइयों ने कहा कि बैठक को लेकर कायदे से जानकारी तक नहीं दी गयी थी.
12 बजे सभागार में एक-एक कर वार्ड पार्षद आते गए. मुख्य पार्षद व अन्य अपनी-अपनी सीटों पर बैठे. लेकिन, किसी भी विभाग से कोई भी अधिकारी नहीं आए. इसके बाद पार्षदों में नाराजगी बढ़ती गयी. इसके बाद सात लोग बाहर चले गए. पार्षदों ने कहा कि जब बैठक में किसी विभाग के कोई कर्मचारी या पदाधिकारी ही मौजूद नहीं हैं तो ऐसे में बैठक की कोई औचित्य ही नहीं है.
उप मुख्य पार्षद अक्षय कुमार ने बताया कि सदस्यों को बैठक के लिये जारी पत्र में विकास योजनाओं पर चर्चा, वर्ष 2023-24 का बजट निर्माण के साथ ही अन्य विषयों पर चर्चा की बात लिखी गयी थी. पर, जब संबंधित विभाग के अधिकारी ही बैठक में नहीं आए. तो इन विषयों पर चर्चा का कोई मतलब नहीं है. सदस्य मुख्य पार्षद पर सशक्त कमेटी के गठन में किसी से राय विचार किए बिना सदस्यों के चयन करने को लेकर चर्चा करते दिखे. वहीं मुख्य पार्षद रामबृक्ष प्रसाद ने सदस्यों के इन आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि सशक्त कमेटी का गठन उनके अधिकार क्षेत्र में है. बावजूद इसमें सामाजिक संतुलन का ख्याल रखा गया है. महिला व पुरुष को अनुपातिक प्रतिनिधित्व दिया गया है. इसमें अर्चना कुमारी, सुनील पंडित व महेश चौधरी को शामिल किया गया है. प्रभारी कार्यपालक पदाधिकारी सह बीडीओ उषा कुमारी ने कहा कि बैठक पूरी तरह विभागीय दिशा निर्देश के तहत आयोजित हुई थी. लेकिन, 11 वार्ड पार्षदों में से सात सदस्य बैठक के बीच में ही उठकर चले गए. कोरम पूरा नहीं होने पर बैठक समाप्ति की घोषणा करनी पड़ी. नगर पंचायत की पहली बैठक में 'प्रथम ग्रासे मच्छिका पाते' की कहावत चरितार्थ हुई. यानि नगर पंचायत बनने के बाद पहली बैठक ही बिना चर्चा के खत्म हो गयी. भोजन के पहले ग्रास में ही मक्खी गिर गयी. आगे शहर का विकास कैसे होगा, यह तो समय ही बताएगा.