गया न्यूज़: भाजपा सांसद सुशील कुमार मोदी ने आरोप लगाया है कि भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से राज्य सरकार की ईर्ष्या इस स्तर पर उतर आयी है कि बिहार के जर्दालु आम और शाही लीची राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री सहित विशिष्ट व्यक्तियों को भेजने की 16 साल की परंपरा तोड़ दी गई.
जारी बयान में श्री मोदी ने कहा कि केंद्रीय नेताओं को आम-लीची भेजने की परंपरा एनडीए सरकार ने 2007 में शुरू की थी. इससे राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय स्तर में बिहार के आम-लीची की ब्रांडिंग हुई और किसानों को लाभ हुआ. वर्षों की ब्रांडिंग का सुफल था कि 2021 में ब्रिटेन, सऊदी अरब, श्रीलंका और बांग्लादेश को भारत से 25 हजार टन जर्दालु आम का निर्यात किया गया. इस मैंगो डिप्लोमेसी के तहत दिल्ली-पटना के अतिविशिष्ट लोगों को 2500 कार्टन आम और लीची भेजे जाते थे. उन्होंने कहा कि ऐसी मीठी परिपाटी पर राजनीति नहीं होनी चाहिए थी. इससे बिहार की छवि और यहां के फल उत्पादक किसानों की आय पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा.
पुलिस को पंगु बना दिया गया था सिन्हा
नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा ने उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव द्वारा बिहार पुलिस एसोसिएशन के कार्यक्रम में पुलिस जनता की मित्र बने, वाले बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त की. आरोप लगाया कि लालू प्रसाद द्वारा वर्ष 1990 में गद्दी संभालने के बाद ही पुलिस के मनोबल को गिराने एवं कम करने का खेल शुरू हुआ था.
आरोप लगाया कि 90 के दशक में अपराधियों ने सरकार के सहयोग से पुलिस महकमा को पंगु और बंधक बना लिया था. श्री सिन्हा ने आरोप लगाया कि आज भी ईमानदार पुलिस अधिकारी को साइड कर दिया गया है. उन्होंने बिहार पुलिस एसोसिएशन के नवनिर्वाचित अध्यक्ष को बधाई दी और राज्य सरकार से पुलिस एसोसिएशन की सभी मांगों पर सकारात्मक रूप से विचार कर पूरा करने की मांग की.