दरभंगा न्यूज़: सांसद डॉ. गोपाल जी ठाकुर ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि भारत सरकार ने डीएमसीएच का अस्तित्व बरकरार रखते हुए दरभंगा में अलग एम्स बनाने का संकल्प लिया था. केंद्र ने कई बार पत्र के माध्यम से बिहार सरकार को दरभंगा एम्स निर्माण के लिए जमीन सहित अन्य मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने को स्मारित किया था, पर तत्कालीन महागठबंधन सरकार ने एक भी पत्र का जवाब भारत सरकार को नहीं भेजा. अब जब राज्य में पुन महागठबंधन की सरकार बनी है तो फिर से एम्स को अटकाने, लटकाने और भटकाने का काम शुरू कर दिया गया है. सांसद ने दरभंगा एम्स के संबंध में विधान परिषद में मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री के बयानों पर सवाल उठाया. उन्होंने बिहार सरकार से आग्रह करते हुए कहा कि दरभंगा एम्स प्रस्तावित डीएमसीएच स्थल पर जल्द बने इसको लेकर राज्य सरकार सहयोगात्मक रवैया अपनाए.
सांसद ने कहा कि तेजस्वी बताएं कि डीएमसीएच की अतिक्रमित 73 एकड़ जमीन कब तक मुक्त कराएंगे. डीएमसीएच में जलजमाव और ट्रैफिक जाम की समस्या के बयान पर सांसद ने कहा कि लगातार आपकी और आपके सहयोगियों की सरकार रहने के बावजूद इस समस्या से निजात नहीं दिला पाए. यह दायित्व किसका था? सांसद ने कहा कि बीते महीने महागठबंधन के नेता और पूर्व विधायक भोला यादव द्वारा एम्स को अशोक पेपर मिल शिफ्ट कर दिया गया था. पूर्व विधायक ने प्रेस कांफ्रेंस कर कैबिनेट होने की बात कही थी. फिर एम्स को अशोक पेपर मिल से उठाकर शोभन शिफ्ट कर दिया गया है. उन्होंने इसे जनता के साथ मजाक करार दिया. उन्होंने कहा कि एम्स निर्माण हेतु डीएमसीएच की 200 एकड़ जमीन बिहार कैबिनेट से स्वीकृत कर भारत सरकार को उपलब्ध करा दी गई और उक्त भूमि पर मिट्टीकरण और ध्वस्तीकरण का काम पूर्ण हो चुका है. इसके बावजूद एम्स का स्थान बदल कर शोभन में नदी किनारे 28 फिट गहरा जमीन देने की वजह बतानी चाहिए.