असम

सरकारी कर्मचारियों को मिलेगा बुजुर्गों के साथ समय बिताने के लिए खास छुट्टियां

Deepa Sahu
4 Jan 2022 4:01 PM GMT
सरकारी कर्मचारियों को मिलेगा बुजुर्गों के साथ समय बिताने के लिए खास छुट्टियां
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असम में सरकारी कर्मचारियों को बुजुर्गों के साथ समय बिताने के लिए दो दिन की छुट्टी मिलेगी.

असम में सरकारी कर्मचारियों को बुजुर्गों के साथ समय बिताने के लिए दो दिन की छुट्टी मिलेगी. छुट्टी से वापस आने पर उन्हें बुजुर्गों के साथ समय बिताने का सबूत दिखाना होगा नहीं तो आकस्मिक अवकाश से छुट्टी काट ली जाएगी.परिवार और समाज में बुजुर्गों की अनदेखी के लगातार बढ़ते मामलों के बीच असम सरकार ने तस्वीर को बेहतर बनाने की दिशा में एक पहल की है. असम सरकार ने सरकारी कर्मचारियों को लिए छह और सात जनवरी को दो दिनों की विशेष छुट्टी का ऐलान किया है ताकि वे माता-पिता और ससुराल वालों के साथ वक्त बिता सकें. हालांकि सबूत के तौर पर उनको एक दर्जन तस्वीरें भी पेश करनी होंगी. जिन कर्मचारियों के माता-पिता या ससुराल वाले जीवित नहीं हैं, वे विशेष अवकाश के हकदार नहीं होंगे. राज्य में तैनात मंत्री, आईएएस और आईपीएस अधिकारी भी इस छुट्टी का लाभ उठा सकेंगे.

असम सरकार ने करीब चार साल पहले प्रणाम विधेयक पारित किया था जिसके तहत मात-पिता की देखभाल नहीं करने वाले सरकारी कर्मचारियों का वेतन काटने का प्रावधान था. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, वर्ष 2050 तक भारत में बुजुर्गों की कुल आबादी 31 करोड़ से अधिक हो जाने की उम्मीद है. हेल्पेज इंटरनेशनल नेटवर्क की ओर से तैयार ग्लोबल एज वाच इंडेक्स में बुजुर्गों के रहने के लिए सबसे बेहतर 96 देशों की सूची में भारत 71 वें स्थान पर था. इससे स्थिति समझी जा सकती है. बढ़ती बुजुर्ग आबादी भारत में बुजुर्गों की आबादी लगातार बढ़ रही है. हालांकि देश में फिलहाल युवा आबादी ही अपेक्षाकृत ज्यादा है लेकिन तस्वीर में बदलाव की सुगबुगाहट शुरू हो गई है. हाल के एक अध्ययन से पता चला है कि देश में सामान्य आबादी की वृद्धि दर जहां 12 फीसदी है वहीं बुजुर्गों यानी साठ साल के पार लोगों की आबादी 36 फीसदी की दर से बढ़ रही है. अगले दस वर्षों में बुजुर्गों आबादी देश की कुल आबादी का 13 फीसदी तक पहुंचने का अनुमान है. टेक्निकल ग्रुप ऑफ पापुलेशन प्रोजेक्शन इन इंडिया की रिपोर्ट को आधार बनाते हुए राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण (एनएसएएस) ने वृद्धों पर कुछ समय पहले एक विस्तृत रिपोर्ट जारी की थी. इसमें कहा गया था कि 2011-21 के बीच सामान्य आबादी की बढ़ोतरी की रफ्तार 12.



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