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चाय में अलग से दूध मिलाने का क्‍या कनेक्‍शन है, बड़ा दिलचस्‍प है किस्‍सा

Gulabi
2 Jan 2022 2:56 PM GMT
चाय में अलग से दूध मिलाने का क्‍या कनेक्‍शन है, बड़ा दिलचस्‍प है किस्‍सा
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80 के दशक की फिल्‍मों में अक्‍सर देखा होगा टेबल पर रखी चाय में दूध अलग से डाला जा रहा है
80 के दशक की फिल्‍मों में अक्‍सर देखा होगा टेबल पर रखी चाय में दूध अलग से डाला जा रहा है. कभी सोचा है कि ऐसा क्‍यों है? आमतौर पर घरों में तैयार होने वाली चाय में दूध तो खौलने के बाद डाला जाता है, फिर ऐसा क्‍यों किया जाता था. दरअसल, चाय में दूध अलग से डालने की शुरुआत ब्र‍िटेन से हुई. लेकिन ऐसा करने के पीछे इसका मकसद स्‍वाद बढ़ाना या घटाना कतई नहीं था. जानिए, ब्र‍िटेन में चाय बनाने के इस खास तरीके की शुरुआत कैसे हुई?
ब्रिटेन में चाय को इस तरह से तैयार करने का ट्रेंड 18वीं शताब्‍दी में शुरू हुआ था. उस दौर में चाय को पॉट में पकाया जाता था. चाय को पीने के लिए चीनी कप्‍स का इस्‍तेमाल किया जाता था, लेकिन इन कप्‍स में एक खामी भी थी. जब भी इन कप में कोई ज्‍यादा गर्म लिक्विड डाला जाता था तो ये अध‍िक तापमान सह नही पाते थे और टूट जाते थे.
उस दौर में चाय एक महंगी ड्रिंक मानी जाती थी और समाज का एक बड़ा तबका गरीबी से गुजर रहा था. चीनी कप के टूटने पर दोबारा उनके लिए चाय तैयार करना आसान नहीं था. नतीजा, चाय को तैयार करने का यह तरीका चलन में आ गया और दूसरे देशों में इसकी शुरुआत हुई थी.
खास बात है कि उस दौर में बोन चाइना के कप भी मौजूद थे, लेकिन ये इतने महंगे थे कि आम इंसान का इसे खरीद पाना मुश्किल था, इसलिए दूध को अलग से मिलाने का ट्रेंड शुरू हुआ. एक रिपोर्ट के मुताबिक, ऐसा करने पर चाय के टेस्‍ट में भी इजाफा हुआ. इसलिए जिन दूसरे देशों में कप के टूटने की समस्‍या नहीं थी, वहां भी यह तरीका चलन में आया.
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