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लाइफ स्टाइल: इलायची का नाम आते ही मेरे मुंह में उसका स्वाद और सुगंध घूमने लगती है और मन करता है तुरंत खा लूं। यह मसाला ही ऐसा है, जिसको मैं बचपन से भोजन के बाद या केला खाने के बाद खाती आई हूं। जब भी भोजन के बाद सौंफ, लौंग इलायची मेहमानों को सर्व की जाती, हम बच्चे उसमें से इलायची खूब सारी ले लेते थे। अब तो इलायची शाही ढंग से चांदी के वर्क में लपेटे हुए भी आती है। इलायची एक खुशबूदार मसाला है, जो भारतीय खानपान में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। यह दो प्रकार की होती है, एक हरी, जिसे छोटी इलायची के नाम से भी जाना जाता है। दूसरी, काली यानी बड़ी इलायची। यह दोनों प्रकार की इलायची अपने आप में ढेरों औषधीय गुणों को भी समेटे हुए हैं। छोटी इलायची हो या बड़ी मैं दोनों को ही तीन तरह से उपयोग में लाती हूं।
पहले पीसकर यानी उनके बीजों का पाउडर बनाकर, दूसरा साबुत और तीसरा कूट कर। अधिकांशत: सभी लोग इलायची के बारे में जानते हैं, पर स्वाद का तड़का लगाते समय किस इलायची का प्रयोग किस तरह की डिश में करना चाहिए, यह जानना भी जरूरी है: इलायची का नाम आते ही मेरे मुंह में उसका स्वाद और सुगंध घूमने लगती है और मन करता है तुरंत खा लूं। यह मसाला ही ऐसा है, जिसको मैं बचपन से भोजन के बाद या केला खाने के बाद खाती आई हूं। जब भी भोजन के बाद सौंफ, लौंग इलायची मेहमानों को सर्व की जाती, हम बच्चे उसमें से इलायची खूब सारी ले लेते थे। अब तो इलायची शाही ढंग से चांदी के वर्क में लपेटे हुए भी आती है।
इलायची एक खुशबूदार मसाला है, जो भारतीय खानपान में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। यह दो प्रकार की होती है, एक हरी, जिसे छोटी इलायची के नाम से भी जाना जाता है। दूसरी, काली यानी बड़ी इलायची। यह दोनों प्रकार की इलायची अपने आप में ढेरों औषधीय गुणों को भी समेटे हुए हैं। छोटी इलायची हो या बड़ी मैं दोनों को ही तीन तरह से उपयोग में लाती हूं। पहले पीसकर यानी उनके बीजों का पाउडर बनाकर, दूसरा साबुत और तीसरा कूट कर। अधिकांशत: सभी लोग इलायची के बारे में जानते हैं, पर स्वाद का तड़का लगाते समय किस इलायची का प्रयोग किस तरह की डिश में करना चाहिए, यह जानना भी जरूरी है ।
1 पुलाव बनाना हो या बिरयानी...तेल में तड़का लगाते समय तेजपत्ता ,लौंग, जीरा आदि के साथ साबुत बड़ी इलायची डाल देने से पुलाव या बिरयानी का स्वाद बहुत ही अच्छा हो जाता है।
2 छोले, सफेद मटर आदि को उबालते समय उसमें बड़ी इलायची, दालचीनी का टुकड़ा, लौंग आदि डालकर उबालने से स्वाद बहुत अच्छा हो जाता है। जब ये साबुत मसाले उबल जाएं तो उन्हें निकालकर अदरक आदि के साथ पेस्ट बनाकर छोले, मटर आदि में फिर से मिला दें। बड़ी इलायची को छिलके के साथ ही पीसने से स्वाद बहुत अच्छा आता है।
3 मूंग की दाल में तड़का लगाते समय साबुत बड़ी इलायची को कूटकर, घी में जीरा,मिर्च आदि के साथ भूनकर मिला देती हूं। स्वादिष्ट दाल तैयार हो जाती है।
4 गरम मसाला, बिरयानी मसाला आदि में भी बड़ी इलायची डालकर ही पीसती हूं। लौकी के कोफ्तों के गोले के बीच चुटकी भर इलायची पाउडर डालकर उन्हें तलें।
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Kavita Yadav
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