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यूरिक एसिड की समस्या महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों को ज्यादा होती है
लंदन । हाई यूरिक एसिड की समस्या से जूझ रहे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। यूरिक एसिड ज्यादा बढ़ जाता है तो यह हाथ-पैर के छोटे जॉइंट्स में जमा हो जाता है और गाउट की समस्या हो जाती है। यूरिक एसिड की वजह से किडनी स्टोन की समस्या होना भी आम बात है। अगर व्यक्ति किसी गंभीर बीमारी से जूझ रहा है और उसका यूरिक एसिड बढ़ जाए तो सीवियर मामलों में किडनी फेल्योर की नौबत भी आ जाती है।
क्या आप जानते हैं कि यूरिक एसिड की समस्या महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों को ज्यादा होती है। आखिर इसकी क्या वजह होती है और इससे किस प्रकार बचा जा सकता है? विशेषज्ञों का कहना है कि यह बात सही है कि हाई यूरिक एसिड की समस्या पुरुषों में महिलाओं की अपेक्षा करीब तीन गुना ज्यादा होती है। इसकी वजह दोनों की बॉडी और हार्मोनल फंक्शनिंग में अंतर हो सकता है। हालांकि यह कहना गलत होगा कि महिलाओं का यूरिक एसिड हाई नहीं हो सकता।
इस बीमारी की चपेट में कोई भी आ सकता है। वर्तमान समय में यूरिक एसिड के मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ रही है और इसकी कई वजह हैं। किडनी या लिवर की बीमारी अनहेल्दी लाइफस्टाइल नॉनवेज का ज्यादा सेवन और हाई प्रोटीन फूड्स से यूरिक एसिड बढ़ सकता है। डॉक्टर के मुताबिक यूरिक एसिड की समस्या से बचने के लिए लोगों को हेल्दी लाइफस्टाइल फॉलो करनी चाहिए। सभी को समय से सोना-जागना और खाना-पीना चाहिए। हर दिन करीब 30 मिनट पर एक्सरसाइज करनी चाहिए। इससे शरीर को हेल्दी रखने में मदद मिलेगी और आपका वजन भी नियंत्रित रहेगा।
डॉक्टर की मानें तो हाई यूरिक एसिड की समस्या की एक बड़ी वजह नॉनवेज का ज्यादा सेवन भी हो सकता है। इसलिए लोगों को नॉनवेज से दूरी बनानी चाहिए और हाई प्रोटीन फूड्स को भी लिमिट में खाना चाहिए। इनका ज्यादा सेवन करने से कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। यूरिक एसिड एक वेस्ट प्रोडक्ट होता है जो हमारे शरीर से यूरिन के जरिए बाहर निकल जाता है। अगर आप पर्याप्त मात्रा में पानी पिएंगे तो यूरिक एसिड को बाहर निकलने में मदद मिलेगी। किडनी स्टोन से बचने के लिए ज्यादा से ज्यादा पानी पीना चाहिए। डाइट में फ्लूड भी शामिल कर सकते हैं। इस समस्या से बचने के लिए खुद को हाइड्रेट रखें। लोगों को समय समय पर ब्लड टेस्ट के जरिए यूरिक एसिड की जांच कराते रहना चाहिए। खासतौर से 40 की उम्र के बाद यूरिक एसिड की समय-समय पर जांच करानी चाहिए। अगर शुरुआत में ही इसका इलाज कराया जाए तो कुछ ही महीनों में बीमारी को खत्म किया जा सकता है। यह कोई लाइलाज बीमारी नहीं है।