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चीजों का लगाएं भोग
चावल आटे का चीला छत्तीसगढ़ का पारंपरिक भोजन है। इसे लोग दो तरह से बनाते हैं, एक तवा में और दूसरा कड़ाही में डीप फ्राई करके। खाने में बेहद स्वादिष्ट और स्वास्थ्य के हेल्दी इसे नाश्ते के अलावा लंच और डिनर की तरह खाया जा सकता है। चावल के आटे को घोलकर भी चीला बनाया जाता है और चावल को पहले भिगोकर उसे पीसकर उस तैयार घोल से भी चीला बनाया जाता है। जो लोग ज्यादा ऑयली खाना पसंद नहीं करते हैं, उनके लिए तवा में बना चीला बेस्ट होता है, लेकिन तवा में चीला बनाना आसान नहीं है, क्योंकि साधारण तवा में चीला का घोल डालने से पलटते वक्त चीला टूट जाता है। ऐसे में चीला बार-बार टूटे न इसलिए हम यहां कुछ टिप्स लाए हैं। इन टिप्स की मदद से आप आसानी से चीला बना सकते हैं, वो भी बिना टूटे।
चीला बनाने के लिए इन टिप्स को करें फॉलो
आटा से चीला बनाने के बजाए चावल को पहले भिगो लें फिर उसे मिक्सी (मिक्सी की सफाई कैसे करें) में पीसे और उस घोल से चीला बनाएं। भीगे हुए चावल से बनाया गया चीला तवा में टूटता नहीं है और स्वाद भी अच्छा लगता है।
यदि आप चावल नहीं भिगो पाए हैं और आपको आटा से ही चीला (चीला बनाने की विधि) बनाना पड़ रहा है तो आप आटा में ठंडा पानी के बजाए गुनगुना पानी डालें। इससे भी चीला के टूटने की संभावना कम होगी।
तवा में चीला का बैटर डालने से पहले तवा को अच्छे से गर्म करें फिर उसमें अच्छे से तेल लगाएं फिर घोल डालें। ठंडी तवा में घोल डालने से चीला अच्छे से नहीं सिकता और पलटते वक्त टूट जाते हैं।
तवा में अच्छे से तेल लगाएं, घोल डालने से पहले और चीला पलटने से पहले तेल की कुछ बूंदें डालकर ही चीला को पलटें। तेल डालने से चीला आसानी से पलट जाते हैं। तेल की कमी होने के कारण भी बैटर तवा में चिपक जाते हैं और उसे पलटना मुश्किल हो जाता है और तवा में चीला के चिपकने के कारण पलटते वक्त टूट जाता है।
हो सके तो चीला बनाने के लिए नॉन स्टिक तवे (नॉन स्टिक तवे की सफाई) का इस्तेमाल करें इसमें चीला चिपकता नहीं और आसानी से पलट जाता है।
चीला बनाते वक्त आंच तेज रखें ताकी तवा अच्छे से गर्म रहे और चीला का बैटर तवा में चिपके नहीं।
बताए गए टिप्स को फॉलो करते हैं, तो आपका चीला टूटेगा नहीं और आसानी से आप चीला बना सकते हैं। अगर हमारी स्टोरी से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो वो आप हमें आर्टिकल के नीचे दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको ये स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़े रहें हर जिंदगी से।गणपति बप्पा का इंतजार हर किसी को रहता है। ज्ञान और बुद्धि के देवता श्री गणेश के आने का जश्न 11 दिनों तक मनाया जाता है। यह त्यौहार बड़े उत्साह और भव्यता के साथ मनाया जाता रहा है। इस उत्सव को महाराष्ट्र में बड़े स्तर पर मनाया जाता है और यह उनके लिए साल का सबसे बड़ा त्यौहार है।
इसकी तैयारी भी लगभग एक महीने पहले से ही शुरू हो जाती है। गणेश या गणपति को मिठाइयां अर्पित की जाती हैं। ऐसा माना जाता है कि भगवान गणेश को मोदक बहुत पसंद है, इसलिए जगह-जगह इसे बनाया जाता है। इसके साथ ही फूल, चावल, नारियल, गुड़ और अन्य कई चीजें उन्हें अर्पण की जाती हैं।
अगर इस बार आप भी धूमधाम से भगवान गणेश का स्वागत करने वाले हैं, तो उनके लिए भोग की तैयारी भी कर लें। चलिए इस आर्टिकल में जानें कि आप उन्हें भोग में कौन-सी चीजें चढ़ा सकते हैं।
भगवान गणेश को मोदक का भोग लगाएं
गणपति बप्पा को मोदक बहुत ज्यादा पसंद होते हैं। यह डंपलिंग की तरह दिखने वाली असल में मिठाई होती है। इसे चावल और गेहूं के आटे से बनाया जाता है और फिर गुड़ डालकर इसे स्टीम किया जाता है। हालांकि कुछ समय से तरह-तरह के मोदक भी बाजार में उपलब्ध होने लगे हैं। बूंदी मोदक, चॉकलेट मोदक, मावा मोदक और रवा मोदक आदि कई फ्लेवर्स में मोदक बनने लगे हैं। गणेश चतुर्थी में यह एक मेन प्रसाद है, जिसे भोग के रूप में भगवान गणेश को जरूर चढ़ाएं।
भगवान गणेश को चढ़ाएं करंजी
करंजी सुनकर अगर आप सोच रहे हैं, कुछ नई रेसिपी है तो ऐसा नहीं है। आप इसे देखेंगे, तो कहेंगे कि अरे यह तो गुजिया है! इसे वैसे तो होली में बनाया जाता है, लेकिन इसका महाराष्ट्रियन वर्जन गणेश उत्सव के दौरान तैयार होता है। बाहर से कुरकुरी करंजी के अंदर कद्दूकस किए हुए नारियल की मीठी-सी स्टफिंग होती है। प्रसाद के रूप में इसे भी भगवान गणेश को चढ़ाया जा सकता है। अगर आप इसे थोड़ा-सा ज्यादा बना लेंगे, तो शाम की चाय के लिए एक मीठा स्नैक भी तैयार हो जाएगा।
भगवान गणेश को चढ़ाएं शंकरपाली
इसे शक्कर पारे भी कहा जाता है और यह महाराष्ट्रियन स्नैक है। यह मीठा और क्रिस्पी होता है। इस इंडियन स्वीट स्नैक को मैदे, चीनी, सूजी और खूब सारे घी से बनाया जाता है। डीप फ्राइड इस स्नैक का सेवन महाराष्ट्र में ही नहीं, बल्कि देश के अन्य राज्यों में भी खूब पसंद किया जाता है। लोग भगवान गणेश को भोग लगाने के लिए प्रसाद की थाली में इसे भी शामिल करते हैं। इसे चूंकि घर पर बनाना आसान है, तो इसे बाजार से खरीदने की बजाय आप भी घर में बना सकते हैं।
भगवान गणेश को लगाएं पंचामृत का भोग
किसी भी पूजा में पंचामृत तो बनता ही है। यह पूजा की थाली का एक जरूरी हिस्सा होता है। इसे नैवेद्यम के रूप में भगवान को चढ़ाया जाता है। भगवान को इसका भोग लगाने के बाद, इसे श्रद्धालुओं को बांटा जाता है। इसे 5 चीजों से मिलाकर बनाते हैं, इसलिए इसका महत्व भी बहुत खास हो जाता है। इसकी सामग्रियों को पवित्र माना जाता है, इसलिए इसे भी भोग के रूप में पूजन में जरूर शामिल करना चाहिए।
भगवान गणेश को लगाएं झुंका का भोग
इस डिश के बारे में मैंने भी पहली बार सुना था। जब सर्च किया तब पता चला कि मोदक के अलावा इसे गणपति पूजन में शामिल किया जाता है। यह एक स्पेशल डिश है, जो सिर्फ भगवान गणेश के लिए उनके जन्मदिन पर तैयार की जाती है। अगर आपको लगता है कि यह भी मिठाई है, तो ऐसा नहीं है। तमाम मिठाइयों के बीच यह एक ऐसी नमकीन डिश है, जिसे पूजन में सर्व किया जाता है। इसे बेसन से बनाया जाता है और भाखरी के साथ सर्व करने की परंपरा है।
भगवान गणेश को चढ़ाएं वरण भात
वरण भात भी एक महाराष्ट्रीयन रेसिपी है, जिसे गणपति पूजन में शामिल किया जाता है। इस दौरान भगवान को सिर्फ मिठाइयों का ही भोग नहीं लगता, बल्कि उनके लिए खास तौर से भोज किया जाता है। भव्य दावत तैयार होती है और उसमें मीठा, नमकीन और अन्य चीजें चढ़ाई जाती हैं। उन्हीं में एक वरण भात है, जिसे तूर की दाल (तूर दाल के फायदे) से बनाया जाता है। बहुत ही सादी रूप से बनी यह दाल भात के साथ सर्व की जाती है।
अगर आप भी गणपति के लिए कुछ बनाने के बारे में सोचें, तो मिठाई ही नहीं कुछ नमकीन डिशेज भी बनाएं। हमें उम्मीद है यह जानकारी आपको पसंद आई होगी। अगर यह लेख पसंद आया, तो इसे लाइक और शेयर करें। ऐसे ही लेख पढ़ने के लिए जुड़े रहें हरजिंदगी के साथ।
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