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खुशहाल शादीशुदा जिंदगी में थोड़े बहुत लड़ाई-झगड़े होते ही हैं। या कह सकते हैं कि हेल्दी रिलेशनशिप में हल्की-फुल्की नोकझोंक जरूरी है।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। खुशहाल शादीशुदा जिंदगी में थोड़े बहुत लड़ाई-झगड़े होते ही हैं। या कह सकते हैं कि हेल्दी रिलेशनशिप में हल्की-फुल्की नोकझोंक जरूरी है। लेकिन जब ये लड़ाई-झगड़े मन में कड़वाहट घोलने लगे तो रिश्ता खत्म होने की नौबत आ जाती है। तलाक के मामले में बढ़ोतरी की वजह काफी सारी वजहें होती हैं। लेकिन ज्यादातर देखा गया है कि रिलेशनशिप में इन वजहों से सबसे ज्यादा तलाक होता है।
एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर
अगर जीवनसाथी का विवाह के बाहर भी किसी से रिश्ता होता है। तो तलाक की नौबत आ ही जाती हैं। क्योंकि जब पार्टनर अपने जीवनसाथी को धोखा देता है और किसी अन्य के साथ रिश्ता रखता है। ऐसे में एक बार बदलाव आने के बाद भी ऐसे जीवनसाथी पर भरोसा करना मुश्किल हो जाता है। इस स्थिति में लोग तलाक के बारे में सोचने लगते हैं। ज्यादातर तलाक की वजह से एकस्ट्रा मैरिटल अफेयर ही होता है।
पैसे की दिक्कत
कई बार देखा गया है कि अगर एक जीवनसाथी अपने करियर में ज्यादा कामयाब है। तो दूसरे के मन में हीन भावना भर जाती है। ऐसे में रिश्ते में खटास आने लगती है और नतीजा तलाक तक पहुंच जाता है। केवल यहीं नहीं खर्च और बचत की आदतें भी कई बार तलाक का कारण बनती हैं। क्योंकि बहुत सारे पार्टनर में से एक अपनी जरूतर से ज्यादा खर्च की प्रवृत्ति पर अंकुश नहीं लगा पाते। ऐसे में भविष्य की चिंता और बचत की आदत दूसरे को परेशान कर देती है और तलाक की वजह बन जाती है।
बात ना करना
कई सारे जोड़े केवल इसलिए अलग हो जाते हैं क्यों कि उनके बीच में कम्यूनिकेशन गैप होता है। इस कम्यूनिकेशन गैप की वजह कई बार घर परिवार भी बन जाता है। वहीं कई बार अपने मन की बात ना कह पाने और एक दूसरे के लिए समय ना निकालने से भी तलाक की नौबत आ जाती है।
जरूरत से ज्यादा उम्मीदें
रिलेशनशिप में अपने जीवनसाथी से जरूरत से ज्यादा उम्मीदें भी तलाक का कारण बन जाती हैं। क्योंकि अगर उम्मीद पूरी नहीं होती तो मन में कड़वाहट आ जाती है। ऐसे में तलाक होना जरूरी हो जाता है।
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