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Seasonal Allergies: अगर आप किसी खास समय के दौरान खांसी, जुकाम या फ्लू (cough, cold or flu) की चपेट में आ जाते हैं, तो इसका कारण मौसमी एलर्जी (Seasonal allergies) हो सकता है. मौसमी एलर्जी को हे फीवर या एलर्जिक राइनाइटिस (fever or allergic rhinitis) के नाम से भी जाना जाता है. दरअसल, मौसमी एलर्जी में हमारा इम्यून सिस्टम (immune system) प्रभावित होता है. इस स्थिती में हमारा इम्यून सिस्टम ऐसी चीजों पर प्रतिक्रिया देता है, जो शरीर के लिए खतरनाक हो सकती है. इसके साथ ही, बहती नाक या छींक आने जैसे लक्षण हमारे इम्यून सिस्टम का वायरस के खिलाफ लड़ने का तरीका हैं. बता दें कि पोलन को सीजनल एलर्जी का कारण माना जाता है. पोलन ऐसा तत्व होता है, पेड़ों और घासों से पैदा होता है. ये काफी हल्का और सूखा तत्व होता है, इसलिए पोलन के लिए हवा में लंबी दूरी तय करना आसान है.
जानिए सीजनल एलर्जी के लक्षण
छींक आना
बहती हुई नाक
आंखों से पानी बहना और खुजली होना
कान में दर्द
खांसी आना
सांस लेने में तकलीफ
समर एलर्जी को कैसे रोंके
एलर्जी ट्रिगर्स से बचना ही इसे रोकने का सबसे अच्छा तरीका है. अगर आप दो सप्ताह से ज्यादा समय तक ऊपर बताए गए लक्षणों में से किसी का अनुभव करते हैं, तो इसका कारण एलर्जी हो सकता है. हालांकि, बेहतर यही होगा कि आप डॉक्टर से संपर्क करें और एलर्जी टेस्ट करें. हालांकि, आपको ये भी बता दें कि गर्मियों के अलावा सर्दियों और स्प्रिंग सीजन में भीएलर्जी होने की संभावना रहती है.
कैसे कम करें एलर्जी का खतरा
पोलन काउंट को ट्रैक करते रहें
अपने घरों को खिड़कियां और दरवाजे बंद रखें
मौसम के अनुसार एयर फिल्टर का इस्तेमाल करें
अपने घर के ह्यूमिडिटी लेवल का ध्यान रखें
साफ सफाई का ध्यान रखें
एलर्जी का इलाज कैसे करें
एलर्जी के इलाज करने के लिए तमाम मेडिसिन उपलब्ध हैं लेकिन इन दवाईयों को डॉक्टर की सलाह के साथ ही लें. एलर्जी के गंभीर मामलों में डॉक्टर एलर्जी शॉट्स देने पर विचार कर सकते हैं. ये सबसे प्रभावी तरीका माना जाता है. ये एक प्रकार की इम्यूनोथेरेपी है जो आपके इम्यून सिस्टमको एलर्जी के प्रति संवेदनशील बनाने में मदद कर सकती है.
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