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बच्चों को हॉस्टल या बोर्डिंग स्कूल भेजने से पहले इन बातों का रखें ख्‍याल

Tara Tandi
25 Sep 2022 1:57 PM GMT
बच्चों को हॉस्टल या बोर्डिंग स्कूल भेजने से पहले इन बातों का रखें ख्‍याल
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हर माता-पिता चाहता है कि उनके बच्‍चे का भविष्‍य उज्‍ज्वल हो और वे जीवन के हर क्षेत्र में सफलता हासिल करे.

जनता से रिश्ता वेबडेस्कहर माता-पिता चाहता है कि उनके बच्‍चे का भविष्‍य उज्‍ज्वल हो और वे जीवन के हर क्षेत्र में सफलता हासिल करे. ऐसे में घर के खराब माहौल से बचाने के लिए कई माता-पिता उन्‍हें किसी अच्‍छे हॉस्‍टल या बोर्डिंग स्‍कूल भेजना बेहतर समझते हैं, जबकि कई पैरेंट्स वर्किंग होने की वजह से या अपने बच्‍चे को अनुशासन सिखाने के लिए हॉस्‍टल भेज देते हैं. बोर्डिंग स्कूल या हॉस्टल भेजने से पहले पैरेंट्स के मन में कई सवाल रहते हैं. मसलन, हॉस्‍टल का माहौल अच्‍छा है या नहीं, वहां बच्‍चा खराब संगत में तो नहीं पड़ जाएगा या बच्‍चे के मानसिक विकास पर इसका बुरा असर तो नही पड़ेगा आदि. इन स्थितियों से बचने के लिए पैरेंट्स बच्चों को हॉस्टल या बोर्डिंग स्कूल भेजने से पहले कुछ ज़रूरी बातों पर विचार करें और बेहतर तरीके से सोच-समझकर ही निर्णय लें.

बच्चे की राय जानें
बच्चे को हॉस्टल या बोर्डिंग स्कूल भेजने से पहले जरूरी है कि बच्‍चे से इस बारे में विस्‍तार से बात करें और उसकी राय जानें. हो सकता है कि वो कुछ ऐसी बात बता दें जो आपके लिए जानना बहुत जरूरी है.
सही उम्र में भेजें हॉस्टल
कम उम्र में बच्चों को खुद से दूर करना उस पर नकारात्मक असर डाल सकता है. ऐसे में उसे बोर्डिंग स्कूल या हॉस्टल 14 से 15 साल की उम्र में ही भेजें.
सही कारण चुनें
बच्‍चे को आप बोर्डिंग स्‍कूल क्‍यों भेज रहे हैं इसका सही कारण चुनें. कभी भी अपने बच्‍चे को ये ना बोलें कि उसको सजा के रूप में भेजा जा रहा है. यह जीवनभर उनकी मानसिकता पर गलत प्रभाव छोड़ जाते हैं.
बच्‍चे के सवाल का दें ईमानदारी से जवाब
आपका बच्‍चा अगर इस विषय पर कुछ पूछता है तो उसके बारे में ईमानदारी से जवाब दें, जैसे आप उसे क्‍यों भेजना चाहते हैं आदि.
हॉस्टल के माहौल का करें पता
जहां आप अपने बच्‍चे को भेज रहे हैं, वहां का माहौल ज़रूर जान लें, जैसे वहां के बच्‍चे कैसे हैं, शिक्षक अनुशासन के नाम पर शोषण तो नहीं करते आदि.
बच्चे की सहमति को रखें ध्‍यान में
बच्चे को बोर्डिंग स्कूल या हॉस्टल भेजने से पहले आपको उसकी सहमति ज़रूर लें. जबरदस्ती बोर्डिंग स्कूल या हॉस्टल नहीं भेजें

न्यूज़ सोर्स: news18

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