लाइफ स्टाइल

IVF ट्रीटमेंट के बाद क्या दूसरी प्रेग्नेंसी हो सकती है नॉर्मल

Manish Sahu
4 Aug 2023 11:26 AM GMT
IVF ट्रीटमेंट के बाद क्या दूसरी प्रेग्नेंसी हो सकती है नॉर्मल
x
लाइफस्टाइल: खराब लाइफस्टाइल, डाइट और स्ट्रेस- हेल्दी प्रेग्नेंसी के लिए खतरनाक साबित हो सकती हैं. लाइफ में इन चीजों को मैनेज करना बेहद जरूरी है. वहीं, जो कपल नैचुरल तरीके से प्रेग्नेंसी प्लान नहीं कर पाते हैं, वे आईवीएफ (IVF) का सहारा लेते हैं. आईवीएफ यानी इन विट्रो फर्टिलाइजेशन एक फर्टिलिटी ट्रीटमेंट है, जो उनके लिए है, जो बच्चा पैदा करने में असमर्थ होते है. सेलेब्स से लेकर आम लोगों तक IVF का ट्रेंड काफी बढ़ा है.
हालांकि, ये थोड़ा लंबा और खर्चीला प्रोसेस है. लेकिन इस सबके बीच सबसे बड़ा सवाल ये है कि क्या पहली IVF प्रेग्नेंसी के बाद दूसरी प्रेग्नेंसी नेचुरल यानी नॉर्मल तरीके से प्लान की जा सकती है. तो इसका जवाब है- हां. देबिना बनर्जी और गुरमीत चौधरी जैसे टीवी इंडस्ट्री के तमाम बड़े सितारे इस बात का उदाहरण हैं, इन कपल्स की दूसरी प्रेग्नेंसी नॉर्मल थी.
क्या है IVF ट्रीटमेंट?
आईवीएफ ट्रीटमेंट के दौरान स्त्री के अंडे और पुरुष शुक्राणु को शरीर के बाहर फर्टीलाइज किया जाता है. फर्टिलाइजेशन प्रक्रिया लैब के अंदर एक ग्लास पेट्री डिश में की जाती है. इस भ्रूण को महिला के गर्भाशय में प्रत्यारोपित किया जाता है ताकि वह बड़ा हो और शिशु का अकार ले सके. इस सारे प्रोसेस में महिला के साथ-साथ पुरुष की जांच भी की जाती है.
आईवीएफ ट्रीटमेंट
क्या संभव है नॉर्मल प्रेग्नेंसी?
आईवीएफ से कपल्स का इलाज करने वाले एक्सपर्ट्स का मानना है कि IVF के बाद नॉर्मल प्रेग्नेंसी के मामले लगातार बढ़ रहे हैं. हेल्थ एक्सपर्ट्स कहते हैं कि ज्यादा उम्र में शादी या कुछ मामलों में मेडिकल कारणों से महिलाओं में इनफर्टिलिटी आ जाती है. लेकिन आईवीएफ के जरिए वह कपल्स पेरेंट्स बनते हैं तो वह खुश होते हैं और उनमें तनाव का लेवल कम हो जाता है. इससे दूसरी प्रेग्नेंसी के नॉर्मल होने के चांस बढ़ जाते हैं.
क्या कहते हैं हेल्थ एक्सपर्ट?
अपोलो फर्टिलिटी में सीनियर कंसल्टेंट डॉ. मीनल चिडगुपकर बताती हैं कि आईवीएफ के बाद सामान्य प्रसव संभव है, लेकिन यह काफी हद तक विभिन्न कारकों पर निर्भर करता है. अगर मां का स्वास्थ्य अच्छा है और कई समस्या नहीं है तो ये नॉर्मल प्रेगनेंसी संभव है. इसके लिए प्रसव पूर्व देखभाल बेहतर होना चाहिए और अगर कोई बीमारी का तो समय पर उसका इलाज कराना चाहिए
दिल्ली में स्त्री रोग और आईवीएफ विशेषज्ञ डॉ. चंचल शर्मा बताती हैं कि आईवीएफ के बाद सामान्य प्रेग्नेंसी भी हो सकती है, लेकिन इसके लिए जरूरी है कि कपल मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ रहें. अगर आईवीएफ के बाद कोई स्वास्थ्य समस्या नहीं है तो दूसरी बार सामान्य गर्भधारण हो जाता है. 10 में से 5 मामलों में ये मुमकिन है.
सीएनबीसी की एक रिपोर्ट मुताबिक, मौजूदा समय में भारत में हर साल औसतन 2 से 2.5 लाख आईवीएफ ट्रीटमेंट किए जाते हैं. हालांकि, अनुमान ये भी हैं यह आंकड़ा सालाना 5-6 लाख तक पहुंच सकता है.
मुंबई के जसलोक हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर में एसिस्टेड रिप्रोडक्शन और जेनेटिक्स विभाग की डायरेक्टर डॉ. फिरुजा पारिख कहती हैं कि यह बहुत संभव है कि दूसरा बच्चा आईवीएफ ट्रीटमेंट के बिना पैदा हो सकता है. डॉ. फिरुजा कहती हैं बच्चे के जन्म के बाद गर्भधारण नहीं करने का तनाव दूर हो जाता है.
क्या है IVF का सक्सेस रेट?
60-70 प्रतिशत की सक्सेस रेट के साथ पिछले पांच सालों में आईवीएफ ट्रीटमेंट में 20 प्रतिशत का इजाफा देखा गया है. विशेषज्ञों का मानना ​​है कि इसके और ज्यादा विस्तार होने की संभावनाएं हैं.
आईवीएफ ट्रीटमेंट
क्या दूसरी बार भी लेना पड़ सकता है IVF ट्रीटमेंट
डॉ. चंचल शर्मा बताती हैं की मानें तो ज्यादा उम्र की अनफर्टाइल महिलाओं को आमतौर पर थायरॉइड, बल्ड प्रेशर, डायबिटीज और मानसिक तनाव जैसी शिकायतें भी रहती हैं. इस कारण कई बार ऐसे कपल्स को दूसरी बार भी आईवीएफ का सहारा लेना पड़ सकता है.
डॉ. फिरुजा पारिख कहती हैं कि पहले आईवीएफ के लिए जो सावधानी बरती जाती है, वही देखभाल दूसरे आईवीएफ चक्र के लिए भी रखनी पड़ती है. महिला को अपने सामान्य स्वास्थ्य का ध्यान रखने की जरूरत है नींद बहुत महत्वपूर्ण है 8 घंटे की नींद आवश्यक है. प्रेग्नेंसी में संतुलित पौष्टिक आहार खाने की जरूरत है. यह सुनिश्चित करें कि वह विटामिन बी कॉम्प्लेक्स फोलिक एसिड और विटामिन डी 3 भी लेती रहें. योग और ध्यान तनाव को कम करने में मदद करते हैं. एक सकारात्मक वातावरण उसकी सफलता की संभावनाओं को बढ़ाएगा
कितना खर्च आता है?
आईवीएफ ट्रीटमेंट महंगा है. इस ट्रीटमेंट की शुरुआत 75 हजार से शुरू होकर 1 लाख से ऊपर भी जा सकती है. ट्रीटमेंट महंगा होने की वजह से भी कई कपल्स इसकी मदद नहीं लेते हैं.
कपल्स किन बातों का रखें ध्यान?
आईवीएफ एक्सपर्ट् का कहना है कि अगर किसी महिला में IVF के बाद अंडे की गुणवत्ता ठीक है. उनका अंडाशय यानी ओवरी नॉर्मल है और उनके पति का स्पर्म काउंट भी नॉर्मल है, तो ऐसे में कपल्स नॉर्मल तरीके प्रेग्नेंसी प्लान कर सकते हैं. इसलिए जितना हो सके है, हैपी हार्मोन्स को जगाएं और तनावमुक्त रहें.
Next Story