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गर्भावस्था में ब्लडप्रेशर की समस्या

Kajal Dubey
23 May 2023 4:19 PM GMT
गर्भावस्था में ब्लडप्रेशर की समस्या
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गर्भावस्था या प्रेगनेंसी के दौरान यूं तो भावी मां को कई तरह की शारीरिक और मानसिक परेशानियां होती है लेकिन इनमें सबसे ज्यादा खतरनाक ब्लड प्रेशर में उतार-चढ़ाव का होना होता है। प्रेगनेंसी में हाई ब्लड प्रेशर होना आम हो सकता है लेकिन मां के साथ ही गर्भस्थ शिशु के लिए भी यह घातक हो सकता है। इस अवस्था के दौरान आपको अपने ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में रखने की बेहद जरूरत होती है। अगर रक्तचाप को नियंत्रण में न रखा जाए तो गर्भावस्था के 20वें सप्ताह तक यह अवस्था प्री-एकलैमप्सिया का रूप ले सकती है जिसे टॉक्सेमिया या फिर गर्भावस्था जनित उच्च रक्तचाप कहते हैं। यह एक गंभीर स्थिति है जिसके कारण आपके मस्तिष्क के साथ ही शरीर के अन्य अंगों पर भी बुरा असर पड़ता है। इस स्थिति में हाथों-पैरों में असमान्य सूजन और लगातार सिरदर्द जैसे लक्षण दिखाई दे सकते हैं साथ ही यह गर्भस्थ शिशु की वृद्धि दर को भी प्रभावित करता है। इसलिए इसका सबसे अच्छा उपाय यह है कि डॉक्टर द्वारा बताई गई दवाओं का समय पर सेवन करते रहें साथ ही कुछ घरेलू उपायों की मदद लेकर भी इसको नियंत्रित करने की कोशिश करें। धयान रहें घरेलू उपायों को करने से पहले अपने डॉक्टर के साथ परामर्श जरुर कर लें। चलिए हम आपको ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने के कुछ उपाय बताने जा रहे है जिससे आपके साथ आपका बच्चा भी स्वस्थ रहे...
- गर्भावस्था में अधिक नमक का सेवन नहीं करना चाहिए। यदि आप उच्च रक्तचाप से पीड़ित है तो 3 ग्राम से ज्यादा नमक न लें।
- दिन भर में ज्यादा से ज्यादा पानी और जूस पीने की आदत डालें क्योंकि रक्तचाप कम करने के लिए यह सबसे अच्छा उपाय है।
- गर्भस्थ शिशु के स्वास्थ्य को अच्छा बनाने के लिए सोयाबीन, अखरोट, अलसी तथा पालक जैसी गहरे हरे रंग वाली पत्तेदार सब्जियों का सेवन करना बहुत फायदेमंद रहता है।
- लहसुन की मदद से आप रक्तचाप को कंट्रोल में रख सकते हैं। लहसुन धमनियों की थकान को कम करता है। हृदय के दर को नियंत्रित करता है।
- गर्भावस्था में हल्का वर्कआउट भी करें ताकि शरीर सक्रिय रहे और आपका दिमाग शांति महसूस कर सके। इसके लिए टहलने जाएं और इस दौरान गहरी सांस लेकर छोड़ें। छोटे-छोटे कदम लें और सकारात्मक सोच रखें। ऐसा करने से आपका उच्च रक्तचाप कम होने लगेगा।
- गर्भावस्‍था के दौरान मलाईदार दूध, मक्खन, घी, तेल, मांसाहार जैसे खाद्य-पदार्थों का सेवन नहीं करना चाहिए।
- आप अपना स्ट्रेस कम करने के लिए अच्छा संगीत सुनें या कुछ देर का समय निकालकर मेडिटेशन करें।
- प्रेगनेंसी के दौरान आप ज्यादा से ज्यादा फल और सब्जियों का सेवन कर सकते हैं। हरी सब्जियों में पालक, गोभी, बथुआ, लौकी, तोरई, परवल, सहजन, कद्दू, टिंडा, नींबू और फलों में अनार, मौसमी, संतरा, सेब, अमरूद, अनानास का सेवन कर सकते हैं।
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