शिमला। पीडब्ल्यूडी को जेसीबी खरीद में भारी मुनाफा हुआ है। विभाग अब राज्य सरकार के तय बजट में 31 और मशीनें खरीद पाएगा। विभाग को जेसीबी खरीद में करीब सात करोड़ 38 लाख का फायदा पहुंचा है। पीडब्ल्यूडी ने गवनर्मेंट ई-मार्केटप्लेस (जेम) पोर्टल पर जेसीबी खरीद के टेंडर आमंत्रित किए थे। इसके लिए देश भर की …
शिमला। पीडब्ल्यूडी को जेसीबी खरीद में भारी मुनाफा हुआ है। विभाग अब राज्य सरकार के तय बजट में 31 और मशीनें खरीद पाएगा। विभाग को जेसीबी खरीद में करीब सात करोड़ 38 लाख का फायदा पहुंचा है। पीडब्ल्यूडी ने गवनर्मेंट ई-मार्केटप्लेस (जेम) पोर्टल पर जेसीबी खरीद के टेंडर आमंत्रित किए थे। इसके लिए देश भर की नामी कंपनियों ने आवेदन और अपने रेट पोर्टल पर अपलोड कर दिए। इन आवेदनों में एल-वन लाइसेंस धारक जेसीबी बनाने वाली कंपनी भी शामिल थी। विभाग और कंपनी के बीच हुई वार्ता के बाद जेसीबी के दामों में कमी देखने को मिली है। दरअसल बाजार में जेसीबी का रेट करीब 32 लाख रुपए चल रहा है, जबकि पीडब्ल्यूडी को एक जेसीबी 23 लाख रुपए मिली है और इस रेट पर ही विभाग को जेसीबी कंपनी मशीनें उपलब्ध करवाएगी। जेसीबी के अलावा कई अन्य कंपनियों ने भी टेंडर भरे थे, लेकिन सबसे कम रेट होने की वजह से सप्लाई का काम जेसीबी कंपनी को मिला है। मार्च तक जेसीबी की डिलीवरी शुरू हो जाएगी। गौरतलब है कि पीडब्ल्यूडी ने जेम पोर्टल के माध्यम से 82 जेसीबी खरीदने की तैयारी की थी। इसके लिए 26 करोड़ से ज्यादा का बजट निर्धारित किया गया था।
अब विभाग को एक जेसीबी में करीब नौ लाख रुपए की बचत हो रही है। ऐसे में विभाग इसी बजट पर ज्यादा जेसीबी खरीदने का प्लान बनाने में जुट गया है। दरअसल, पूरी खरीद में विभाग को सात करोड़ 38 लाख रुपए की बचत हो रही है। अब पहले से तय बजट में ही विभाग 31 और जेसीबी की खरीद कर सकता है। हालांकि इसके लिए पीडब्ल्यूडी को राज्य सरकार से दोबारा मंजूरी लेनी होगी। जेसीबी इंग्लैंड की कंपनी है और इसकी स्थापना 23 अक्तूबर, 1945 को हुई थी। जेसीबी भारत में सडक़ निर्माण में इस्तेमाल होने वाली भारी मशीनों का उत्पादन करती है। कई मल्टीनेशनल कंपनियों ने पीडब्ल्यूडी को मशीनें बेचने की पेशकश की, लेकिन कामयाबी कम रेट देने की वजह से जेसीबी के हाथ लगी है। पीडब्ल्यूडी के प्रमुख अभियंता ई. अजय गुप्ता ने बताया कि विभाग पूरी पारदर्शिता से वाहनों की खरीद कर रहा है। पोर्टल पर खरीद की वजह से विभाग को बड़ा फायदा मिला है। अब पहले से निर्धारित बजट में ही विभाग 31 और जेसीबी खरीद सकता है। उन्होंने कहा कि विभाग भविष्य में भी सभी तरह की खरीद पोर्टल के माध्यम से ही करेगा। उन्होंने बताया कि जेसीबी की सप्लाई को लेकर अलग-अलग कंपनियों ने टेंडर भरे थे। इनमें जेसीबी कंपनी ने सबसे कम रेट देकर टेंडर हासिल कर लिया है।