मनोरंजन

Happy Birthday : जावेद अख्तर के जन्मदिन पर जाने उनसे जुड़ी बातें

Bhumika Sahu
17 Jan 2022 2:02 AM GMT
Happy Birthday : जावेद अख्तर के जन्मदिन पर जाने उनसे जुड़ी बातें
x
जावेद अख्तर (Javed Akhtar) 4 अक्टूबर 1964 को मुंबई आए थे. उस वक्त उनके पास खाने के भी पैसे नहीं थे. उन्होंने कई रातें सड़कों पर खुले आसमान के नीचे बिताईं. हालांकि, बाद में उन्हें कमाल अमरोही के स्टूडियो में ठिकाना मिला.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। जावेद अख्तर की कलम की ही वो ताकत है जिसने 'शोले' (Sholey) जैसी फिल्म को बड़े पर्दे पर साकार किया. इस फिल्म ने सफलता के मायने ही बदल दिए. हिंदी सिनेमा में जावेद अख्तर को कौन नहीं जानता. गजलों को एक नया रूप देने में जावेद साहब का बहुत ही बड़ा योगदान है. जावेद अख्तर और सलीम खान (Salim Khan) ने कई सारी फिल्में लिखीं. इस जोड़ी को सिनेमा में सलीम-जावेद के नाम से भी जाना जाता है. साल 2007 में पद्म भूषण से नवाजा जा चुका है. जावेद अख्तर का जन्म 17 जनवरी 1945 को ग्वालियर में हुआ था. उनके पिता का नाम निसार अख्तर जो कि एक कवि थे और मां का नाम साफिया अख्तर जो कि उर्दू लेखिका और शिक्षिका थीं. जब जावेद अख्तर बेहद छोटे थे उसी वक्त उनकी मां का इंतकाल हो गया था. उनके पिता ने दूसरी शादी कर ली थी और कुछ दिनों तक अपनी सौतेली मां के घर पर रहने के बाद जावेद साहब का जीवन उनके दोस्तों के ही भरोसे हो गया था. उन्होंने भोपाल में ही अपने कॉलेज की पढ़ाई की.

सलीम-जावेद की जोड़ी थी सबसे आला जोड़ी
जावेद अख्तर की पहली पत्नी हनी ईरानी थीं, जिनसे इन्हें दो बच्चे हैं फरहान अख्तर और जोया अख्तर. ये दोनों ही बॉलीवुड में मशहूर फिल्म निर्माता और निर्देशक हैं. जबकि उनकी दूसरी पत्नी हैं हिंदी सिनेमा की मशहूर अदाकारा शबाना आजमी. जावेद अख्तर 4 अक्टूबर 1964 को मुंबई आए थे. उस वक्त उनके पास खाने के भी पैसे नहीं थे. उन्होंने कई रातें सड़कों पर खुले आसमान के नीचे बिताईं. हालांकि, बाद में उन्हें कमाल अमरोही के स्टूडियो में ठिकाना मिला.
जावेद अख्तर ने अपने करियर की शुरुआत 'सरहदी लूटेरा' से की थी. इस फिल्म में सलीम खान ने एक छोटी सी भूमिका भी निाई थी. इसी फिल्म के बाद सलीम-जावेद की जोड़ी ने हिंदी फिल्मों में कई सुपरहिट डायलॉग्स और पटकथाएं लिखीं. इन दोनों की जोड़ी ने साल 1971 से लेकर 1982 तक तकरीबन 24 फिल्मों में काम किया जिनमें सीता और गीता, शोले, हाथी मेरे साथी, यादों की बारात और दीवार जैसी फिल्में शामिल हैं. इन दोनों की 24 फिल्मों में से 20 फिल्में ऐसी रहीं, जो बॉक्स ऑफिस पर ब्लॉकबस्टर साबित हुईं.
5 बार मिल चुका है नेशनल अवॉर्ड्स
साल 1987 में आई फिल्म 'मिस्टर इंडिया' के बाद इन दोनों की जोड़ी पूरी तरह से अलग हो गई. लेकिन इसके बाद भी जावेद अख्तर फिल्मों के लिए डायलॉग्स लिखते रहे. जावेद अख्तर को उनके गीतों के लिए 8 बार फिल्मफेयर अवॉर्ड से सम्मानित किया जा चुका है. साल 1999 में साहित्य जगत में उनके योगदान के लिए उन्हें पद्मश्री से नवाजा गया. उन्हें उनके गीतों के लिए 5 बार वो नेशनल अवॉर्ड्स मिल चुका है. वो राज्यसभा के सांसद भी रह चुके हैं.


Next Story