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घनश्याम नायक की आखिरी इच्छा यहां थी फुल मेकअप के साथ अंतिम विदाई
Shiddhant Shriwas
5 Oct 2021 7:51 AM GMT
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सोमवार को घनश्याम (Ghanshyam Nayak) का अंतिम संस्कार हुआ, जिसमें शामिल होने के लिए दिलीप जोशी (Dilip Joshi) से लेकर भव्य गांधी तक, उनके सभी को-स्टार पहुंचे.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। देश के सबसे लोकप्रिय शो 'तारक मेहता का उल्टा चश्मा' (Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah) में नट्टू काका (Nattu Kaka) किरदार निभाने वाले घनश्याम नायक (Ghanshyam Nayak) अब इस दुनिया में नहीं रहे. घनश्याम नायक सोमवार को कैंसर की जंग हार गए और अपने चाहने वालों को हमेशा के लिए अलविदा कह गए. घनश्याम नायक की आखिरी इच्छा थी कि वह मेकअप के साथ मरना चाहते थे, यानी वह काम करते-करते इस दुनिया से जाना चाहते थे. इसका खुलासा उनके दोस्त अभिलाष द्वारा किया गया.
बीमारी के कारण घनश्याम नायक शूटिंग तो नहीं कर पा रहे थे, लेकिन उनकी आखिरी इच्छा उनके दोस्तों और परिवार के लोगों ने पूरी की. अंतिम संस्कार से पहले घनश्याम नायक का फुल मेकअप किया गया और फिर उन्हें शमशान ले जाया गया. अभिलाष ने घनश्याम नायक के साथ हुई अपनी आखिरी बातचीत को याद करते हुए कहा कि वह मेकअप के साथ मरना चाहते थे और अपनी आखिरी सांस तक काम करने की इच्छा थी.
दोस्त से जाहिर की थी नट्टू काका ने अपनी आखिरी इच्छा
घनश्याम ने अपनी ये इच्छा अपने दोस्त के सामने उस समय जाहिर की थी जब वह तारक मेहता का उल्टा चश्मा की शूटिंग दमन में पूरी करके वापस मुंबई लौटे थे. अभिलाष ने बताया कि घनश्याम ने उनसे फोन करके कहा था कि भगवान ने मुझ पर कृपा की है कि यह एपिसोड अच्छी तरह से निपट गया और इसकी सराहना की गई है.
यहां देखिए घनश्याम नायक के अंतिम संस्कार से पहले का वीडियो
आपको बता दें कि नट्टू काका उर्फ घनश्याम नायक काफी लंबे समय से बीमारी चल रहे थे. एक साल पहले ही उन्हें कैंसर का पता चला था, जिसकी जानकारी उनके बेटे द्वारा दी गई थी. सोमवार को घनश्याम का अंतिम संस्कार हुआ, जिसमें शामिल होने के लिए दिलीप जोशी से लेकर भव्य गांधी तक, उनके सभी को-स्टार पहुंचे.
मुनमुन ने नट्टू काका के लिए लिखा इमोशनल पोस्ट
वहीं, घनश्याम नायक के निधन पर शो की एक्ट्रेस मुनमुन दत्ता ने एक बहुत ही इमोशनल पोस्ट लिखा. बबीता जी उर्फ मुनमुन ने लिखा- उनकी लड़ाई की भावना और प्रेरणादायक शब्द, वो भी विपरीत परिस्थितियों में मुझे सबसे ज्यादा याद हैं. उन्होंने संस्कृत में 2 श्लोक कहे कि कैसे कीमो से उबरने के बाद उनका उच्चारण बिल्कुल सही और स्पष्ट है. हमने सेट पर उन्हें स्टैंडिंग ओवेशन दिया.
मुनमुन ने आगे लिखा- हमारे सेट, हमारी यूनिट और हमारी टीम के बारे में कहने के लिए उनके पास हमेशा सबसे अच्छी चीजें रहीं. यह उनका दूसरा 'घर' था. वह मुझे प्यार से 'डिकरी' कहकर बुलाते थे और मुझे अपनी बेटी मानते थे. उन्होंने हम सभी के साथ खूब हंसी के पल बिताए. मुझे याद है कि वह अपने बचपन के संघर्ष की कहानियों को साझा करते थे.
Shiddhant Shriwas
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