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- संविधान के आर्टिकल 32...
दिसंबर 1948 में संविधान सभा की एक चर्चा में डॉ. भीमराव अंबेडकर ने महत्वपूर्ण बात कही. अंबेडकर ने कहा कि 'अगर मुझसे संविधान के उस एक आर्टिकल को चुनने के लिए कहा जाए, जिसके ना होने से संविधान महत्वहीन हो जाएगा, तो मैं आर्टिकल 32 का चुनाव करूंगा, ये संविधान की आत्मा भी है और ह्रदय भी.' आखिर डॉ. अंबेडकर ने ऐसा क्यों कहा ? पहले आपको ये जानना होगा कि हम आज इस आर्टिकल की बात ही क्यों कर रहे हैं? दरअसल, पिछले कुछ दिनों से आर्टिकल 32 लगातार चर्चा में है. ताज़ा मामला माफिया मुख्तार अंसारी से जुड़ा है. मुख्तार उत्तर प्रदेश के मऊ से बीएसपी का विधायक है. उसके खिलाफ उत्तर प्रदेश की विशेष MP-MLA कोर्ट में हत्या, फिरौती, धोखाधड़ी, गैंगस्टर एक्ट से जुड़े 10 केस चल रहे हैं. लेकिन जनवरी 2019 में मुख्तार को प्रोडक्शन वारंट पर पंजाब ले जाया गया और उसके बाद कई कोशिशों के बावजूद यूपी सरकार मुख्तार को वापस नहीं ला पाई. मामला सुप्रीम कोर्ट में पहुंच गया जहां खुद पंजाब सरकार ने हलफनामा देकर मुख्तार की खराब तबीयत का हवाला दिया और कहा कि उसे उत्तर प्रदेश नहीं भेजा सकता. इस पर यूपी सरकार ने आरोप लगाया कि 'पंजाब सरकार बड़ी बेशर्मी से मुख्तार के साथ खड़ी है.'