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- शिक्षक दिवस विशेष:...
कोरोना काल में अध्यापकों के योगदान को सराहते हुए अमेरिका के राष्ट्रपति ने उनसे कहा, 'आप केवल प्रशंसा के ही पात्र नहीं, बल्कि ज़्यादा वेतन के पात्र भी हैं। उधर जब न्यायधीशों, चिकित्सकों और अभियंताओं ने जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्कल से अध्यापकों के सबसे अधिक वेतन का कारण पूछा तो उन्होंने कहा, 'मैं आप लोगों की तुलना उन लोगों से कैसे कर सकती हूं, जिन्होंने आप लोगों को पढ़ाया है शिक्षा व शिक्षक के प्रति इस तरह का दृष्टिकोण ही शिक्षा के स्तर को शिखर पर ले जाता है। इधर अपने देश-प्रदेश में कोरोना काल में अध्यापक ऑनलाइन पढ़ाई भी करवाते रहे व कई जगहों पर कोरोना वॉरियर के रूप में भी अपनी सेवाएं देते रहे, परंतु समाज के कई लोग एक धारणा बना कर कहते रहे कि मास्टरों के तो कोरोना काल में मज़े हैं। वास्तव में यह धारणा जहां समाज की शिक्षक के प्रति कुंठित, अवांछनीय व दुराग्रह से ग्रसित सोच की बानगी है, वहीं यह आज के परिवेश में अध्यापक की घटती साख व मलिन होती छवि पर भी एक यक्ष प्रश्न है।