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- बिचौलियों से मुक्त...
रमेश कुमार दुबे: खेती-किसानी के आधुनिकीकरण के लिए मोदी सरकार द्वारा लाए गए तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे कुछेक किसान संगठनों का सबसे बड़ा आरोप यही था कि सरकार न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर अनाज की खरीद बंद कर देगी, लेकिन नए कृषि कानूनों के तहत पंजाब में हुई गेहूं की रिकॉर्ड तोड़ सरकारी खरीद ने इन आरोपों को सिरे से नकार दिया। इसी कारण कि किसान आंदोलन सिमटता जा रहा है। मोदी सरकार द्वारा कृषि के आधुनिकीकरण और सूचना-प्रौद्योगिकी आधारित नई खरीद-विपणन प्रणाली के लिए लाए गए तीन नए कृषि कानूनों के नतीजे दिखने लगे हैं। पंजाब में 14 मई 2021 को समाप्त हुए गेहूं खरीद सत्र में एमएसपी (1975 रुपये प्रति क्विंटल) पर रिकॉर्ड खरीद हुई है। इस रबी खरीद सत्र के दौरान पंजाब में किसानों से 132 लाख टन गेहूं की खरीद की गई। गेहूं खरीद की यह मात्रा राज्य सरकार द्वारा निर्धारित लक्ष्य से दो लाख टन अधिक है। जहां पिछले साल 8.8 लाख किसानों ने एमएसपी पर गेहूं की बिक्री की थी, वहीं इस साल यह संख्या बढ़कर नौ लाख हो गई। सबसे बड़ी बात यह रही कि पंजाब के इतिहास में यह पहली बार हुआ जब बिचौलियों-आढ़तियों को बॉयपास करते हुए सरकार ने 23,000 करोड़ रुपये का भुगतान सीधे किसानों के बैंक खातों में किया।