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होटल और टूरिज़्म इंडस्ट्री दूसरी सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाली इंडस्ट्री थी
वर्ष 2021 जाने को है. कोरोना वायरस के आगमन के बाद सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाली इंडस्ट्री की बात करें तो सबसे पहला नाम फिल्म इंडस्ट्री का आता है. होटल और टूरिज़्म इंडस्ट्री दूसरी सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाली इंडस्ट्री थी.
ऐसे माहौल में सिनेमा हॉल में जब फिल्म को रिलीज़ करना एक जोखिम भरा काम था. देखना रोचक होगा कि इस दौरान कौन सी फिल्में रिलीज़ हुईं और उनमें क्या खास था. कोरोना वर्ष में बॉलीवुड फिल्मों के हाल की बात करें तो बहुत अच्छे तो नहीं कह सकते लेकिन इसे ही उपलब्धि मान लें कि फिल्में आखिर रिलीज़ तो हुईं, उन्होंने अंतत: थिएटर का रूख तो किया. बॉलीवुड की सेहत के लिए यही बेहतर होगा कि जाते साल में फ्लॉप, हिट और बॉक्स ऑफिस कलेक्शन की बात न ही की जाए.
साल की महत्वपूर्ण फिल्मों की बात करें तो दिसंबर के दूसरे पखवाड़े में को रिलीज़ हुई 'पुष्पा: द राइज' का जि़क्र सबसे पहले होगा. साउथ के कलाकारों की यह फिल्म बॉक्स आफिस पर पैसों की बरसात करने में सबसे आगे है. अल्लू अर्जुन साउथ के सुपर स्टार हैं. फिल्म में उनका साथ दिया दक्षिण भारतीय अभिनेत्री रश्मिका मंदाना ने.
फिल्म का निर्देशन और लेखन सुकुमार ने किया. पुष्पा एक तेज रफ्तार एक्शन ड्रामा मूवी है. फिल्म हिंदी के अलावा दक्षिण भारतीय भाषाओं में भी रिलीज़ हुई. फिल्म के 200 करोड़ के क्लब में शामिल होने की उम्मीद की जा रही है. अगर ऐसा होता है तो ओमीक्रॉनउ (कोरोना) के दौर में यह एक बड़ी उपलब्धि मानी जाएगी.
दूसरी उल्लेखनीय फिल्म है कपिलदेव के क्रिकेट जीवन पर बनी फिल्म 83. कहते हैं 'ट्रुथ इज़ स्ट्रेंजर देन फिक्शन' यानि 'सच कल्पना से ज्यादा रोमांचक होता है.' अब क्रिेकेट को ही ले लें. वो 25 जून 1983 का दिन था (भारत में रात थी) जब वर्ल्ड कप क्रिकेट का फाइनल मैच चल रहा था. इंडिया के सामने उस दौर की सबसे शक्तिशाली, दो बार वर्ल्ड कप का खिताब जीत चुकी वेस्टइंडीज़ की टीम थी.
भारत ने कपिल देव के नेतृत्व में यह खिताब जीत कर इतिहास रच दिया था. कपिल देव के इसी करिश्मे को ध्यान में रखकर बनाई गई फिल्म 83 दिसंबर के अंतिम दिनों में रिलीज़ हुई. निर्देशक कबीर खान की इस फिल्म ने दर्शकों को तो प्रभावित किया ही साथ ही आलोचकों की तारीफ भी बटोरी. फिल्म में कपिल देव की भूमिका रणबीर सिंह और कपिल की पत्नी रोमी की भूमिका रणबीर की पत्नी दीपिका पादुकोण ने निभाई थी.
कुछ लोगों ने दीपिका के जेएनयू प्रकरण के कारण फिल्म को बॉयकाट करने का ऐलान भी किया था जिसका कोई असर नहीं हुआ और फिल्म ने बॉक्स आफिस पर अच्छी रकम बटोरी. फिल्म में ग्यारह अभिनेताओं का चयन मुश्किल काम था क्योंकि टीम के ग्यारह खिलाडि़यों के अनुरूप कलाकारों को चुनना था.
लेकिन इस मुश्किल काम को सहज अंजाम दियाग गया और प्रभावी स्टारकास्ट चुनी गई. जिसमें पंकज त्रिपाठी, अमी विर्क, साहिल खड्डर और ताहिर भसीन आदि थे. आम लोगों के अलावा रजनीकांत ने भी फिल्म की दिल खोलकर प्रशंसा की.
83 के फाइनल मैच के अलावा जिम्बाबे से खेला गया मैच भी कम रोमांचक नहीं था जिसमें भारीय टीम 17 रन पर पांच विकेट गंवाकर हार की कगार पर थी, तब कप्तान कपिल ने 183 रन बनाकर मैच जिताया था.
बात सूर्यवंशी की. यह अक्षय कुमार, कैटरीना कैफ, रणदीप सिंह, अजय देवगन अभिनीत फिल्म है, जिसे रोहित शेट्टी ने निर्देशित किया है. यह करण जौहर के धर्मा प्रोडक्शन की फिल्म है. कोरोना पेंडामिक के चलते सूर्यवंशी ने थिएटर रिलीज़ के लिए दो साल तक इंतज़ार किया. यह एक एक्शन थ्रिलर फिल्म थी जिसे देखने का मजा़ सिर्फ थिएटर में ही आ सकता था. इसलिए कह सकते हैं कि निर्माता-निर्देशक का इसे थिएटर में ही रिलीज़ करने और इंतज़ार करने का फैसला पूरी तरह सही था. दर्शकों ने फिल्म खूब इंज्वाय की. फिल्म की कहानी में 1993 का बम ब्लॉस्ट और पाकिस्तान को शामिल कर राष्ट्रवाद की भावना को भी कैश कराया गया है.
थलाइवी कंगना रनौत अभिनीत फिल्म थी जो तमिलनाडू की पूर्व मुख्यमंत्री और एआईडीएमके प्रमुख जयललिता के जीवन पर आधारित थी. योजना थी कि फिल्म का प्रदर्शन तमिलनाडु चुनाव के पहले किया जाए. इसके पीछे आर्थिक और राजनीतिक दौनों कारण थे. लेकिन कोरोना संक्रमण के चलते यह संभव नहीं हो सका और फिल्म 10 सितम्बर को रिलीज़ हुई.
फिल्म अच्छी थी लेकिन मास आडियंस को भाने वाली नहीं थी. इसलिए बाक्स ऑफिस पर ज्यादा सफल नहीं हो पाई. यह फिल्म तीन मेजर मल्टीप्लेक्स चैन पीवीआर, सिनेपोलिस और आइनॉक्स में रिलीज़ नहीं हुई. क्योंकि फिल्म के निर्माता ने थिएटर में रिलीज़ के सिर्फ दो हफ्ते बाद ओटीटी प्लेटफार्म पर प्रीमियर करने का निर्णय लिया था.
जबकि मल्टीप्लेक्स चैन चाहते थे कि चार हफ्ते का एक्सक्लुसिव सिनेमा विंडो रहे. पहले यह विंडो और ज्यादा था बाद में इसे घटाकर चार किया गया था. 10 सितंबर को जब यह फिल्म रिलीज़ हुई तब सिनेमा हाल वैसे ही 50 परसेंट आक्युपेंसी के साथ चल रहे थे और तीसरी लहर की आहट ने दर्शकों को डराया हुआ था. इस तथ्य को निर्माता और मल्टीप्लेक्स दौनों ही अपने तरीके से पेश कर रहे थे. अंतत: खामियाजा दौनों ने भुगता.
'अंतिम: द फाइनल ट्रूथ', वैसे तो सलमान के जीजा आयुष शर्मा की फिल्म थी. जिसे बाक्स ऑफिस पर सफल बनाने के लिए खुद सलमान ने भी एंट्री ली. सिख पुलिस वाले के रूप में सलमान के फेंस ने इन्हें पसंद भी खूब किया. महेश मांजरेकर के निर्देशन से सजी इस फिल्म ने शुरूआती दिनों में अच्छा कलेक्शन किया लेकिन बाद में फिल्म में की कमाई की रफ्तार में कमी आ गई. फिल्म महेश मांजरेकर की पुरानी फिल्म वास्तव से प्रभावित थी.
इसी के साथ जॉन इब्राहीम की फिल्म 'सत्यमेव जयते 2' भी रिलीज़ हुई. 'अंतिम' के साथ रिलीज़ होने के कारण इसे एक दिन पहले गुरूवार को रिलीज़ किया गया था. फिल्म उल्लेखनीय प्रभाव नहीं छोड़ पाई. फिल्म में भूषण कुमार की पत्नी दिव्या खोसला कुमार ने हीरोइन के रूा में वापसी की.
'चंडीगढ़ करे आशिकी' निर्देशक अभिषेक कपूर की लीक से हटकर यूनिक लवस्टोरी थी. फिल्म के कलाकार आयुष्मान खुराना के बारे में रितिक रोशन ने क्या कहा, बस ये सुन लें और फिल्म का आकलन कर लें. 'मेरे दोस्त आप भारतीय सिनेमा के बेहतरीन अभिनेताओं में से एक हैं अरसे बाद ऐसा हुआ है कि मैं इस तरह पेरित हुआ हूं ! जब भी ऐसा होता है तो इसे पसंद करना चाहिए! मुझे इसके साथ प्रेरित करने के लिए धन्यवाद! बहुत बहुत बधाई ! बड़ी झप्पी.'
कोरोना संक्रमण के दौर से उबर चुके देश और दुनिया के सामने तीसरी लहर की आहट मुंह उठाए खड़ी थी ऐसे माहौल में'बेलबॉटम' बॉलीवुड की पहली बड़ी फिल्म थी जिसे सिनेमाघरों में रिलीज़ किया गया. 'बैलबॉटम' अस्सी के दशक में ले जाती है जहां भारत विरोधी ताकतों द्वारा इंडियन एयरलाइंस के विमान का अपहरण हो जाता है. अक्षय कुमार और वाणी कपूर की यह फिल्म नए अंदाज़ की थ्रिलर-जासूसी फिल्म थी. जिसे रंजीत एम तिवारी ने निर्देशित किया था.
'भवई' प्रतीक गांधी की फिल्म थी. प्रतीक हर्षद मेहता पर बनी वेब सीरीज़ में हर्षद का प्रभावी रोल निभाने के चलते चर्चा में थे. यह फिल्म गुजरात के लोक कला रूप भवई की पृष्ठभूमि पर केन्द्रित थी.
वेले' कॉमेडी ड्रामा फिल्म है जो सनी देओल के बेटे करण देओल की दूसरी फिल्म थी. जिसमें उसके चाचा अभय देओल भी थे. अन्या सिंह और मौनी रॉय ने फीमेल केरेक्ट निभाए.
विक्की कौशल की फिल्म 'सरदार उधम' अमेजन प्राइम वीडियो पर रिलीज हुई थी. यह फिल्म 1919 के जलियांवाला बाग हत्याकांड से शुरू होकर 1940 तक के घटनाक्रम का प्रभावी चित्रण करती है. इसमें क्रांतिकारी वीर सरदार उधम सिंह के जीवन को दर्शाया गया है.
कारगिल युद्ध से पहले की घटनाओं पर आधारित और कैप्टेन विक्रम बत्रा की कहानी का वर्णन करने वाली फिल्म 'शेरशाह' भी ओटीटी प्लेटफार्म पर रिलीज़ हुई एक अच्छी फिल्म थी.
'अतरंगी रे' भी ओटीटी प्लेटफार्म पर हाल ही में रिलीज़ हुई एक बेहतर फिल्म है जिसमें अक्षय कुमार, सारा अली खान और धनुष ने अभिनय किया है. फिल्म में सारा के अभिनय की तारीफ हुई है. फिल्म को लेकर विवाद भी हुआ और इसे लव जिहाद को बढ़ावा देने वाली फिल्म बताकर बॉयकाट की अपील भी की गई.
'तड़प' मिलन लथूरिया निर्देशित फिल्म थी. वही मिलन जिन्होंने विद्या बालन और इमरान हाशमी के साथ 'डर्टी पिक्चर' बनाई थी. यह एक रोमांटिक, एक्शन, ड्रामा फिल्म थी और तेलगु फिल्म की रीमेक थी. इससे सुनील शेट्टी के बेटे आहान शेट्टी ने डेब्यु किया था. उसके साथ तारा सुतारिया थीं. फिल्म ने और आहान शेट्टी, दौनों ने दर्शकों का भरपूर प्यार बटोरा.
निर्देशक वरूण शर्मा निर्देशित 'बंटी और बब्ली 2' रानी मुखर्जी की कमबैक फिल्म कही जा सकती है. इसमें उनके साथ सैफ अली खान हैं. पहले यह जोड़ी फिल्म 'हमदौनों' में साथ आ चुकी है. पंकज त्रिपाठी भी फिल्म में हैं. निर्माता आदित्य चौपड़ा की यह फिल्म पुरानी 'बंटी बब्ली' जैसा कमाल नहीं कर पाई. नई 'बंटी' में 'कजरारे' जैसा गीत जो नहीं था. कोराना भी एक कारण हो सकता है.
साल के अंत में ही अमिताभ बच्चन, इमरान हाश्मी और रिया चक्रवर्ती स्टारर चेहरे आई. रिया सुशांत राजपूत आत्महत्या केस में चर्चित हुई थीं. फिल्म का निर्देशन रूमी जाफरी ने किया था. फिल्म ने औसत प्रदर्शन किया. हॉलीवुड मूवी की बात करें तो दिसंबर में 'स्पाईडर मेन' और सितम्बर के आखिर में 'नो टाईम टू डाई' (जैम्स बॉण्ड सीरीज) का नाम लिया जा सकता है.
कुल मिलाकर साल 2021 फिल्मों के नज़रिए से बहुत उल्लेखनीय उपलब्धि हासिल करने वाला वर्ष नहीं था. आशा करते हैं कि अगला साल कोरोना प्रभावित बॉलीवुड को शुद्ध आक्सीजन देकर उसकी सेहत में जरूर सुधार करेगा. उम्मीद पर ही दुनिया कायम है.
(डिस्क्लेमर: ये लेखक के निजी विचार हैं. लेख में दी गई किसी भी जानकारी की सत्यता/सटीकता के प्रति लेखक स्वयं जवाबदेह है. इसके लिए जनता से रिश्ता किसी भी तरह से उत्तरदायी नहीं है)
शकील खान फिल्म और कला समीक्षक
फिल्म और कला समीक्षक तथा स्वतंत्र पत्रकार हैं. लेखक और निर्देशक हैं. एक फीचर फिल्म लिखी है. एक सीरियल सहित अनेक डाक्युमेंट्री और टेलीफिल्म्स लिखी और निर्देशित की हैं.
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