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हमारे छींकते वक्त क्यों बंद हो जाती हैं आंखें? पढ़ें अनोखा रहस्य
Gulabi Jagat
17 Jun 2022 4:39 PM GMT
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जब आप किसी ऐसी जगह जाते हैं जहां बहुत गर्दा है तो आपको छींक आने लगती है
जब आप किसी ऐसी जगह जाते हैं जहां बहुत गर्दा है तो आपको छींक आने लगती है. कई बार तो लोगों को अन्य चीजों से भी एलर्जी होती है और वो छींकना शुरू कर देते हैं. मगर क्या आपने कभी सोचा है कि इंसान को छींक क्यों आती है और या फिर छींकने (Why do eyes close during sneezing) के वक्त इंसान की आंखें क्यों बंद हो जाती हैं? इस क्रिया के पीछे शरीर से जुड़ा अनोखा रहस्य है जिसके बारे में जानने से पहले ये जान लीजिए कि इंसान छींकता (what is sneezing) क्यों है.
छींकना (Sneezing process) शरीर की एक रक्षात्मक प्रतिक्रिया (defense mechanism) है जिसके जरिए शरीर नाक लंग्स की हवा को मुंह और नाक के जरिए शरीर से बाहर निकलता है. इसके अलावा अगर नाक में कोई बैक्टीरिया या वायरस या फिर कोई बाहरी चीज घुस जाती है तो छींकने से वो बाहर निकल जाती है. इन चीजों के अलावा पाइपराइन, कैपसेसिन जैसे केमिकल जो काली मिर्च और मिची पेपर में पाए जाते हैं, जब नाक में घुसते हैं तो इससे भी शरीर छींकता है जिससे ये केमिकल नाक से तुरंत ही निकल जाएं. कई बार तो लोगों को धूप से भी छींक आ जाती है. इसके अलावा कुछ लोगों को इमोशनल होने पर छींक आती है.
छींकते वक्त क्यों बंद हो जाती हैं आंखें?
अब जब हमें ये पता चल चुका है कि छींक के जरिए दिमाग हमारे सांस लेने के रास्ते को साफ करता है, तो चलिए अब जानते हैं कि आखिर छींकते वक्त आंखें क्यों बंद हो जाती हैं. सालों से एक अफवाह लोगों के बीच काफी प्रचलित है. वो ये कि अगर छींकते वक्त आंखें खोलने की कोशिश की जाएगी तो छींक के प्रेशर से आंख की पुतलियां बाहर निकल आएंगे. मगर ये सिर्फ अफवाह है और कुछ नहीं. दरअसल, छींकते वक्त आंखों का बंद हो जाना एक अपने आप होने वाला एक्शन (autonomic reflex) है. इसका ये मतलब हुआ कि हम इस बारे में सोचते भी नहीं और हमारा शरीर ऐसा कर देता है.
छींकते वक्त क्यों आती है आवाज?
वैज्ञानिकों का मानना है कि आंखें इसलिए बंद हो जाती हैं जिससे छींकते वक्त मुंह से निकलने वाले बैक्टीरिया आंखों में ना चले जाएं. अब चूंकि आंखें अपने आप बंद हो जाती हैं तो इसमें कोई बुराई नहीं है कि वो क्यों बंद हो जा रही हैं मगर आप इस रीफ्लेक्स एक्शन को रोककर आंखें खुली भी रख सकते हैं. मगर समझदारी यही होगी कि आंखों को बंद ही रहने दें जिससे कीटाणु आपकी आंखों में ना जाएं. लगे हाथ आपको ये भी बता देते हैं कि छींकते वक्त लोग इतनी जोर से आवाज क्यों निकलते हैं. जैसा हमने पहले भी बताया कि लंग्स भी भर गई हवा, छींक के जरिए बाहर निकलती है. ऐसे में वो हवा निकलने की आवाज होती है. जितनी ज्यादा हवा होगी, उतनी ज्यादा आवाज आएगी.
Gulabi Jagat
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