नवरात्रि से त्योहारों का मौसम शुरू हो चुका है. भारत में अब अगले एक महीने तक ये सीजन (Festive Season) लोगों को काफी व्यस्त रखने वाला है. ऐसे में क्या आप इंडोनेशिया के बाली में मनाए जाने वाले एक अनोखे त्योहार के बारे में जानते हैं. इस हिंदू त्योहार का नाम न्येपी (Nyepi) है. 'न्येपी' शब्द का मतलब होता है शांति बनाए रखने के लिए.
शोर मचाने पर होती है मनाही
इस त्योहार को मनाने का तरीका वाकई में सबसे अलग है. आपको बता दें कि 24 घंटों तक सभी लोग साइलेंट (Silent) रहते हैं. इतना ही नहीं सड़कों पर वाहन चलाने पर भी रोक लगा दी जाती है, जिससे कि शांति (Peace) भंग न हो. सभी लोग अपने घर पर रहते हैं और कहीं भी आते-जाते नहीं हैं.
नए साल के तौर पर मनाते हैं त्योहार
इस दिन शोर मचाने से लेकर लाइट्स जलाने जैसी प्रतिक्रियाओं पर रोक लगा दी जाती है. बाली में इस त्योहार को हर साल नए साल (New Year) की शुरुआत के तौर पर मनाया जाता है. पूरे आइलैंड पर साइलेंस मेनटेन करने के लिए विमानों (Planes) के मार्ग तक बदल दिए जाते हैं, जिससे आसमान से भी किसी तरह की आवाज न आए. मान्यता है कि एक दिन शांति बनाए रखने से, ध्यान लगाने (Meditation) से और व्रत रखने से गलत कामों के प्रभाव को कम किया जा सकता है.
भारत के कुछ राज्यों में है ये परंपरा
अगले साल की नई और सकारात्मक (Positive) शुरुआत करने के लिए इस त्योहार को मनाया जाता है. आपको जानकर हैरानी होगी कि भारत (India) के कर्नाटक, तेलंगाना और आंध्र प्रदेश में भी इस त्योहार को मनाया जाता है. हालांकि इन राज्यों में न्येपी को उगादी (Ugadi) नाम से जाना जाता है.