कैलिफोर्निया में कोडावा समुदाय ने उत्तर भारत के एक शख्स के साथ समलैंगिक शादी को मुद्दा बना लिया है. उसने अपने समुदाय के एक सदस्य पर शादी से धर्म को अपमानित करने का आरोप लगाया है. कोडावा समुदाय के अध्यक्ष एस देवप्पा ने कहा, "हमारे समुदाय की मजबूत सभ्यता और परंपरा का मजाक उड़ाया गया है. हम समलैंगिक शादी की सख्त आलोचना करते हैं. हमारा विरोध इस बात पर है कि ये हमारी संस्कृति के खिलाफ है."
अमेरिका में समलैंगिक शादी पर भारत में नाराजगी
समुदाय के बुजुर्गों को अब ये चिंता सता रही है कि जात-बिरादरी से बाहर होनेवाली शादियों की वजह से उनकी आबादी लगातार कम हो रही है. उनका कहना है कि अब उनकी तादाद घटकर सिर्फ सवा लाख रह गई है. बता दें कि शरत पोनप्पा ने संदीप दोसांच से अमेरिका में समलैंगिक शादी कर विवाद को जन्म दे दिया. जिसके बाद कर्नाटक के लोगों में सख्त गुस्सा देखा जा रहा है. दोनों की तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल होने से समलैंगिक शादी चर्चा में आ गई.
भारत में कोडावा समुदाय के एक वकील का कहना है कि भले अमेरिका में एक पुरुष से पुरुष की शादी कानूनी रूप से स्वीकार्य हो लेकिन ये परंपरा और संस्कृति के खिलाफ नहीं होना चाहिए. उन्होंने हमारे समुदाय की इज्जत पर दाग लगाया है. उन्होंने बताया कि कोडावा समुदाय के लोग अपनी जिंदगी में दो बार सफेद लिबास पहनते हैं. पहली बार दूल्हा बनने पर और दूसरी बार मौत के वक्त पहनाया जाता है. अन्य सभी अवसरों पर अन्य रंग के लिबास पहने जाते हैं.
शादी में पारंपरिक लिबास पहनने पर भी ऐतराज
उनका कहना है कि अगर हमारे समुदाय के लोग समलैंगिकों से शादी करने लगें तो चंद साल में समुदाय पर संकट आ जाएगा और हम भी पारसियों की तरह हो जाएंगे. इससे पहले कर्नाटक के कोडागु जिले में बिल्कुल अगल मामला देखा जा चुका है. यहां कोडावा समुदाय ने दूसरी जात में शादियों के लिए मैरेज हॉल नहीं देने का ऐलान किया है. सामाजिक बहिष्कार पर एक शख्स ने कहा कि समुदाय के दूसरे लोगों को इस तरह की शादी से रोकना चाहते हैं.