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दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद आतंकी संगठन जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट का चीफ यासीन मलिक जेल के अंदर भूख हड़ताल पर है। जेल सूत्रों के अनुसार, उसकी मांग है कि उसके खिलाफ चल रहे विचाराधीन मामले की सही तरीके से जांच हो।
Yasin Malik Hunger Strike: दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद आतंकी संगठन के चीफ यासीन मलिक कारागार के अंदर ही भूख हड़ताल पर बैठ गया है। जम्मू-कश्मीर लिबिरेशन फ्रंट का चीफ यासीन मलिक यहां उम्रकैद की सजा काट रहा है। जेल नंबर 7 में कैद यासीन मलिक से जेल अधिकारिकों ने हड़ताल खत्म करने की अपील की लेकिन वह पीछे हटने को तैयार नहीं है। जेल सूत्रों के मुताबिक, उसकी मांग है कि उसके खिलाफ चल रहे विचाराधीन मामले की सही तरीके से जांच हो। यासीन मलिक की भूख हड़ताल के बाद जेल प्रशासन अलर्ट हो गया है।
मामलों की जांच में गड़बड़ी का आरोप
आतंकी यासीन मलिक का आरोप है कि उसके खिलाफ पेंडिंग मामलों की जांच सही तरीके से नहीं की जा रही है। उन पर चले मामलों की जांच को सही ढंग से कराने की मांग को लेकर वह भूख हड़ताल पर बैठा है। जेल प्रशासन मलिक को मनाने कई कोशिश की लेकिन वह अपनी जीद पर अड़ा हुआ है। हड़ताल खत्म नहीं होने पर जेल प्रशासन की तरफ से सरकारी एजेंसियों को भी इस बात की सूचना दे दी है।
हाई सिक्योरिटी जेल में बंद है यासीन मलिक
आपको बता दें कि यासीन मलिक तिहाड़ की हाई सिक्योरिटी जेल में बंद है। आतंकी को वहां पर रोज ब्रेकफास्ट, लंच और डिनर दिया जाता है। शुक्रवार जब जेल कर्मी ब्रेकफास्ट लेकर पास पहुंचे तो उसने इसे खाने से मना कर दिया। साथ ही कहा कि वह भूख हड़ताल पर है। यह जानकारी तुरंत जेल के आला अधिकारियों को दी गई।
जेल प्रशासन अलर्ट
जम्मू-कश्मीर लिबिरेशन फ्रंट का चीफ यासीन मलिक की भूख हड़ताल के बाद जेल प्रशासन अलर्ट हो गया है। जेल में उसकी सुरक्षा इंतजाम और कड़ी कर दी गई है। इसके साथ ही मेडिकल टीम भी अलर्ट पर रखी गई है। यदि उसकी तबीयत बिगड़ती है तो तत्काल इलाज मुहैया कराया जा सके।
मई में मिली उम्रकैद
आपको बता दें कि यासीन मलिक जम्मू-कश्मीर में 1990 के दशक में हुई अलगाववादी हिंसा के प्रमुख सूत्रधारों में से एक था। मलिक जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट का चेयरमैन है। मई 2022 में उसको आपराधिक षडयंत्र रचने और राज्य के खिलाफ युद्ध छेड़ने से जुड़े मामलों में दोषी ठहराया गया। अब वह आजीवन कारावास की सजा काट रहा है
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