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वन्यजीवों का 'एक्सचेंज प्रोग्राम' जल्द होगा शुरू

Admin4
10 Aug 2022 11:15 AM GMT
वन्यजीवों का एक्सचेंज प्रोग्राम जल्द होगा शुरू
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न्यूज़क्रेडिट: अमरउजाला

चिड़ियाघर के एक अधिकारी के मुताबिक, चिड़ियाघर में लंबे समय से वन्यजीवों की संख्या बढ़ाने पर जोर दिया जा रहा है। इसके लिए देश के विभिन्न चिड़ियाघरों के साथ विदेश के चिड़ियाघरों से भी संपर्क किया जा रहा है। प्रशासन का प्रयास है कि यहां जिराफ और चिंपांजी की कमी को पूरा किया जा सके।

चिड़ियाघर में जल्द ही वन्यजीवों का 'एक्सचेंज प्रोग्राम' शुरू होगा। इसके लिए प्रशासन की ओर से कवायद शुरू कर दी गई है। संभावना है कि यहां नए मेहमानों के आगमन के साथ पर्यटकों को नए जानवर देखने को मिलेंगे। इसके लिए प्रशासन देश-विदेश के चिड़ियाघरों से संपर्क साधेगा।

चिड़ियाघर के एक अधिकारी के मुताबिक, चिड़ियाघर में लंबे समय से वन्यजीवों की संख्या बढ़ाने पर जोर दिया जा रहा है। इसके लिए देश के विभिन्न चिड़ियाघरों के साथ विदेश के चिड़ियाघरों से भी संपर्क किया जा रहा है। प्रशासन का प्रयास है कि यहां जिराफ और चिंपांजी की कमी को पूरा किया जा सके। ऐसे में कुछ चिड़ियाघरों की ओर से सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है। हालांकि, यह एक लंबी प्रक्रिया है और केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण (सीजेडए) की मंजूरी का भी इंतजार है। इस प्रक्रिया के तहत दिल्ली चिड़ियाघर से भी कुछ वन्यजीवों को दूसरे चिड़ियाघर भेजा जाएगा।

अधिकारी के मुताबिक, क्योंकि यहां पहले से ही हिरण अधिक संख्या में हैं तो हिरणों की संख्या कम कर अन्य वन्यजीवों को बढ़ाया जाएगा। अधिकारी का कहना है कि इस समय उमस अधिक है। इस वजह से अधिक उमस में वन्यजीवों को लाना और ले जाना मुश्किल होता है क्योंकि, इस तरह के मौसम में वन्यजीवों की तबियत खराब हो सकती है। इसको देखते हुए मौसम ठीक होने पर एनिमल एक्सचेंज के लिए प्रयास तेज होंगे।

दिल्ली चिड़ियाघर में लंबे समय से जिराफ और चिंपांजी की कमी है। साल 2019 में भी दिल्ली चिड़ियाघर की ओर से थाईलैंड व मैसूर और पटना के चिड़ियाघर को पत्र लिखकर पांच जिराफ की मांग की गई थी, लेकिन यह योजना ठंडे बस्ते में चली गई थी। दिल्ली चिड़ियाघर में साल 2015 में अंकित नाम का जिराफ था, जो हार्ट अटैक व किडनी फेल होने से मर गया था। वहीं चिंपांजी साल अक्तूबर 2019 में मर गया था।

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