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जल्द दिल्ली एयरपोर्ट पर चेक इन टाइम 15 मिनट तक घटेगा, नई तकनीक इस तरह करेगी काम, यात्री सेवा में आएगा सुधार

Renuka Sahu
20 March 2022 4:52 AM GMT
जल्द दिल्ली एयरपोर्ट पर चेक इन टाइम 15 मिनट तक घटेगा, नई तकनीक इस तरह करेगी काम, यात्री सेवा में आएगा सुधार
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फाइल फोटो 

दिल्ली हवाईअड्डे पर चेक इन में लगने वाले समय को 15 मिनट तक कम करने की योजना है।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। दिल्ली हवाईअड्डे पर चेक इन में लगने वाले समय को 15 मिनट तक कम करने की योजना है। इसके लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और कंप्यूटर विजन की मदद ली जाएगी। नई तकनीक कतारों में लगे लोगों की संख्या व लगने वाले समय का अनुमान लगा लेगी। रियल टाइम पर भीड़ के बारे में पता चलने, क्या और कहां बाधा है इसका पता लगने पर ऑडियो, वीडियो या ध्वनि अलार्म बजेगा। फिर जरूरत के मुताबिक कतार को छोटा करने, लोगों को दूसरे काउंटर या लाइन में भेजने आदि समय कम करने के कदम उठाए जाएंगे।

दरअसल, हाल ही में दिल्ली हवाईअड्डा प्रशासन ने आईआईटी दिल्ली के साथ इस योजना के लिए हाथ मिलाया है। अगले पांच साल दोनों हवाईअड्डे पर परिचालन दक्षता में सुधार करने पर काम करेंगे। अभी सामान्यत: प्रवेश, बोर्डिंग पास, सुरक्षा जांच के बाद विमान तक चढ़ने में डेढ़ से दो घंटे तक का समय लगता है। इस समय के चलते ही यात्री अपनी उड़ान के समय से घंटों पहले हवाईअड्डे पहुंचते हैं।
शिकायत मिली
कई बार प्रवेश गेट पर जांच के दौरान लगने वाले समय, इमिग्रेशन व बोर्डिंग काउंटर आदि जगहों पर यात्रियों की कतारें लगती हैं। लगातार लोग सोशल मीडिया व अन्य माध्यम से इसकी शिकायतें करते हैं। एक साथ अधिक संख्या में उड़ानें आने पर भी यात्रियों की कतारें लग जाती हैं। कई बार कम काउंटर के खुले होने और सुरक्षा जांच में लगने वाले अधिक समय की भी यात्री शिकायत करते हैं।
कैसे काम करेगा
इस तकनीक में कैमरों और मशीन लर्निंग एल्गोरिदम का उपयोग किया जाएगा। इससे चेक इन में लगने वाले समय की रियल टाइम जानकारी मिलेगी। सुरक्षा जांच, बोर्डिंग पास, बैगेज बेल्ट आदि में अपेक्षा से अधिक समय लगने पर ध्वनि अलार्म बजेगा। कितना समय लग रहा है, किस जगह संख्या अधिक है इसका पता चलेगा। फिर वहीं, ऑडियो व वीडियो के माध्यम से अलर्ट जारी होगा। इसके बाद यात्रियों को दूसरे काउंटर पर भेजकर, लंबी कतार को कम कर, अतिरिक्त कर्मचारी व काउंटर खोल समय को कम किया जाएगा। हवाईअड्डा प्रशासन का चेक इन में लगने वाले समय को 15 मिनट तक कम करने का लक्ष्य है। इस साल के अंत तक इसका असर दिखने लगेगा।
बैग आईडी
नई तकनीक में बैग आईडी दिए जाने की योजना है। इस तकनीक में बैग की तेजी से पहचान करने में मदद मिलेगी। किस कन्वेयर बेल्ट पर कौन सा बैग है और बैग कहां है इसकी पहचान हो सकेगी। ऑडियो व वीडियो से बैग के बारे में सूचना भी दी जा सकेगी। फिलहाल हवाईअड्डे पर स्क्रीन पर किस उड़ान संख्या के बैग किस कन्वेयर बेल्ट पर आने वाले है केवल इसका पता लगता है। अगले पांच साल में हवाईअड्डा प्रशासन आईआईटी दिल्ली के साथ चरणबद्व तरीके से हवाईअड्डे पर यात्री सुविधा बढ़ाने पर काम करेगा।
लंदन में हो चुकी है ऐसी पहल
जानकारी के मुताबिक मध्य लंदन के गैटविक एयरपोर्ट पर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस व कंप्यूटर विजन की मदद से यात्री सुविधा में सुधार करने की पहल हो चुकी है। इससे यहां यात्री सुरक्षा के साथ बेहतर सुविधाएं देने में सहायता मिली है। बता दें कि कोरोना महामारी से पहले दिल्ली हवाईअड्डे से रोजाना करीब 1300 उड़ानें आवाजाही करती थीं। इनमें करीब दो लाख से अधिक यात्री सफर करते थे। फिलहाल दिल्ली में तीन रनवे हैं। चौथा रनवे जल्द चालू होगा। जिसके बाद यहां रोजाना करीब 1700 उड़ानें चलने की उम्मीद है। यात्री संख्या बढ़कर 2.50 लाख होगी। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए यह कवायद हो रही है।
नंबर गेम
- 3 रनवे हैं दिल्ली हवाईअड्डे पर
- 2 लाख से अधिक यात्री कोरोना पूर्व आवाजाही करते थे प्रतिदिन
इस पर केंद्रित
- यात्रियों को सुविधाजनक, बिना अवरोध के आवाजाही सुनिश्चित करना
- यात्रियों की भीड़ को नियंत्रित किया जाए
- लोगों की वरीयताओं को बेहतर ढंग से समझा जाए
- यात्रियों को विश्वस्तरीय बुनियादी ढांचा और अनुभव प्रदान किए जाएं
- यात्रियों की प्राथमिकताओं के अनुसार सुविधाओं को अपग्रेड करना


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