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गृह मंत्रालय ने दिल्ली पुलिस के 6 कर्मियों को वर्ष 2022 के लिए "बेहतरीन इन्वेस्टिगेशन के लिए केंद्रीय गृह मंत्री पदक" से किया सम्मानित
Ritisha Jaiswal
13 Aug 2022 2:57 PM GMT
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गृह मंत्रालय ने दिल्ली पुलिस के छह कर्मियों को वर्ष 2022 के लिए “बेहतरीन इन्वेस्टिगेशन के लिए केंद्रीय गृह मंत्री पदक” से सम्मानित किया है.
गृह मंत्रालय ने दिल्ली पुलिस के छह कर्मियों को वर्ष 2022 के लिए "बेहतरीन इन्वेस्टिगेशन के लिए केंद्रीय गृह मंत्री पदक" से सम्मानित किया है. इनमें डीसीपी दीपक यादव, आरपी मीणा डीसीपी, स्पेशल सेल के एसीपी संजय दत्त, इंस्पेक्टर संजय कुमार गुप्ता, इंस्पेक्टर अनुज कुमार त्यागी और एसआई मुनीश कुमार शामिल हैं.
डीसीपी दीपक यादव और एसआई मुनीश कुमार- केस एफआईआर नंबर 92/2021 यू / एस 384/385/420/34/120 बी आईपीसी और 66 डी आईटी अधिनियम के तहत दर्ज मामले को बहुत सहजता के साथ सुलझाया था. दरअसल, थाना नॉर्थ एवेन्यू नई दिल्ली में ये एक हाई-प्रोफाइल मामला था, जिसमें आरोपी व्यक्तियों ने माननीय राज्य मंत्री से सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर किसी घटना से संबंधित वीडियो जारी करने की धमकी देते हुए 2 करोड़ रुपये की मांग की थी. इस केस में आरोपी कबीर वर्मा एक बीमा एजेंट था. वहीं, अमित कुमार जो एक कॉल सेंटर चलाता है. ऐसे में डीसीपी दीपक यादव और एसआई मुनीश कुमार की टीम ने एक सर्विलांस, तकनीकी और सटीक वैज्ञानिक जांच के बाद आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था. एक सप्ताह के भीतर वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा कुशल मार्गदर्शन और करीबी निगरानी से 8 मोबाइल फोन, 2 लैपटॉप और 1 टैब बरामद किया गया था.
डीसीपी दीपक यादवडीसीपी दीपक यादव
आरपी मीणा डीसीपी- एफआईआर संख्या 32/21 यू/एस 457/380 आईपीसी पीएस. यह केस कालका जी साउथ ईस्ट जिला से संबंधित है, जिसमें 20.01.2021 को एक ज्वैलरी शोरूम से भारी मात्रा में सोना/आभूषण चोरी हो गया था. 200 से अधिक पुलिसकर्मियों को मिलाकर 20 से अधिक टीमों का गठन किया गया था. इन टीमों ने अच्छी तरह से समन्वय किया और निरंतर तकनीकी और वैज्ञानिक जांच के परिणामस्वरूप घटना के 14 घंटों के भीतर 100% वसूली हुई.
संपूर्ण दिल्ली पुलिस के रिकॉर्ड में तीसरा है
स्पेशल सेल के एसीपी संजय दत्त और इंस्पेक्टर अनुज कुमार त्यागी – एफआईआर नंबर 09/17 यू / एस 22/29 एनडीपीएस एक्ट थाना स्पेशल सेल जिसमें आरोपी व्यक्ति अमनदीप सिंह और हरप्रीत सिंह को 25.02 किलोग्राम साइकोट्रोपिक ड्रग 'मेफेड्रोन' (आमतौर पर म्याऊ-म्याऊ के रूप में जाना जाता है) के साथ पकड़ा गया था. बाद में एक अन्य आरोपी हरविंदर सिंह को 24/12/2021 को लंदन से भारत लाया गया और इस मामले में गिरफ्तार किया गया. यह मामला एक कैलेंडर वर्ष में विशेष प्रकोष्ठ की एक ही टीम द्वारा यूनाइटेड किंगडम से दूसरा सफल प्रत्यर्पण और संपूर्ण दिल्ली पुलिस के रिकॉर्ड में तीसरा है.
स्पेशल सेल के इंस्पेक्टर संजय कुमार गुप्ता – प्राथमिकी संख्या 252/2018 दिनांक 25.05.2018 यू/एस 3/4 एमसीओसी अधिनियम पीएस अलीपुर के खिलाफ दिल्ली और हरियाणा में 'संगठित अपराध सिंडिकेट' चलाने के लिए गैंगस्टर जितेंद्र उर्फ गोगी (अब मृतक) के खिलाफ दर्ज किया गया था, जो स्पेशल सेल में जांच की गई. इस सिंडिकेट के पंद्रह (15) सदस्य अर्थात जितेंद्र @ गोगी, दिग्विजय, दिनेश, योगेश, कुलदीप @ गुलशन गुल्लू, दीपक @ प्रदीप, सूर्यवीर, प्रवीण बाजार, कपिल @ विजय मान, कपिल मान @ कल्लू, रोहित @ मोई, मोहित @ पंची, गौरव @ कपिल, संजय @ फल्ला और सुरेंद्र मान के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था और पांच आरोप-पत्र दाखिल किए गए थे.
इसके अलावा इस "संगठित अपराध सिंडिकेट" की रीढ़ की हड्डी 15 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति/संपत्ति को कुर्क करके तोड़ी गई थी. अपराध की जांच के उच्च पेशेवर मानकों को बढ़ावा देने और जांच अधिकारियों द्वारा जांच में उत्कृष्टता को मान्यता देने के उद्देश्य से 2018 में "अन्वेषण में उत्कृष्टता के लिए केंद्रीय गृह मंत्री पदक" का गठन किया गया था.
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