राजधानी दिल्ली की कई सड़कों और फ्लाईओवरों को भी मिले हैं नए नाम, जानिए पूरी खबर
दिल्ली: राष्ट्रपति भवन के मशहूर 'मुगल गार्डन' का नाम बदलकर 'अमृत उद्यान' रखे जाने के बाद एक बार फिर से यह बहस छिड़ गई है कि क्या वाकई नाम में कुछ नहीं रखा है? सवाल यह भी उठता है कि कागजों या साइनेज पर नाम बदल देने के बाद भी आम लोग आखिर नए नामों के साथ जुड़ाव क्यों नहीं बना पाते हैं? 2013 में केंद्र की यूपीए सरकार ने कनॉट प्लेस का नाम बदलकर पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के नाम पर 'राजीव चौक' कर दिया था, लेकिन लोग आज भी इसे कनॉट प्लेस या सीपी के नाम से ही बुलाते और पहचानते हैं। राजीव चौक केवल एक मेट्रो स्टेशन के रूप में ही याद आता है। गुड़गांव को आखिर कितने लोग 'गुरुग्राम' बोलने लगे हैं?
कई सड़कों के बदले गए नाम
पिछले 5-7 सालों के दौरान दिल्ली की दर्जन भर से ज्यादा सड़कों के नाम बदले जा चुके हैं। इनमें सबसे ताजा उदाहरण कर्तव्य पथ का है, जिसे लोग राजपथ के नाम से जानते थे। 2019 में दिल्ली सरकार ने मुकरबा चौक का नामकरण कारगिल वॉर के हीरो शहीद कैप्टन विक्रम बतरा के नाम पर किया था। महरौली-बदरपुर रोड का नाम भी आचार्य महाप्रज्ञ मार्ग किया गया। प्रगति मैदान मेट्रो स्टेशन का नाम भी बदलकर सुप्रीम कोर्ट किया गया। सबसे ज्यादा बदलाव नई दिल्ली की सड़कों पर ही देखने को मिल है। 2015 में औरंगजेब रोड का नाम बदलकर डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम माग किया गया। वहीं, 2016 में प्रधानमंत्री के आवास के बाहर वाली रेस कोर्स रोड का नाम बदलकर लोक कल्याण मार्ग किया गया था। 2017 में डलहौजी रोड का नाम भी बदलकर दाराशिकोह रोड किया गया, जबकि 2018 में तीन मूर्ति चौक के नाम में बदलाव करके इसे तीन मूर्ति हाइफा चौक का नया नाम दिया गया।
पिछले साल दिल्ली बीजेपी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने एनडीएमसी के अध्यक्ष को पत्र लिखकर तुगलक रोड का नाम गुरु गोबिंद सिंह मार्ग, अकबर रोड का नाम महाराणा प्रताप रोड, औरंगजेब लेन का नाम अब्दुल कलाम लेन, हुमायूं रोड का नाम महर्षि वाल्मीकि रोड और शाहजहां रोड का नाम बदलकर जनरल बिपिन सिंह रावत रोड रखने की मांग की थी। उससे पहले 2020 में पूर्व केंद्रीय मंत्री विजय गोयल ने भी बंगाली मार्केट से जुड़ी बाबर रोड का नाम बदलकर 5 अगस्त मार्ग रखने का प्रस्ताव रखा था। तब 5 अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या में बनने वाले राम मंदिर का शिलान्यास करने वाले थे।
फ्लाईओवर-पार्कों के नाम भी बदले
दिल्ली में फ्लाईओवरों के भी नाम बदले गए हैं। मसलन, 2016 में दिल्ली सरकार ने बारापूला एलिवेटेड रोड का नाम बदलकर बाबा बंदा सिंह बहादुर सेतु रखा, तो वहीं लाजपत नगर फ्लाईओवर का नाम झूलेलाल सेतु रखा गया। पिछले साल डीडीए के 16 पार्कों का नामकरण भी गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों के नाम पर किया गया था। 2019 में फिरोजशाह कोटला स्टेडियम का नाम पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली के पाम पर रखा गया। वहीं, पिछले साल एमसीडी ने साउथ दिल्ली में भीकाजी कामा प्लेस से सटे मोहम्मदपुर गांव का नाम बदलकर माधवपुरम कर दिया था। दिल्ली के 40 अन्य गांवों के नाम बदलने का प्रस्ताव भी बीजेपी की तरफ से दिल्ली सरकार को भेजा गया था।
कनॉट प्लेस- राजीव चौक
मुगल गार्डन- अमृत उद्यान
राजपथ- कर्तव्य पथ
महरौली- बदरपुर रोड- आचार्य महाप्रज्ञ मार्ग
रेस कोर्ड रोड- लोक कल्याण मार्ग
डलहौजी रोड- दाराशिकोह रोड
तीन मूर्ति चौक- तीन मूर्ति हाइफा चौक
लाजपत नगर फ्लाईओवर- झूलेलाल सेतु
मोहम्मदपुर गांव- माधवपुरम
फिरोजशाह कोटला स्टेडियम- अरुण जेटली स्टेडियम
प्रगति मैदान मेट्रो स्टेशन- सुप्रीम कोर्ट मेट्रो स्टेशन
बारापूला एलिवेटेड रोड- बाबा बंदा सिंह बहादुर सेतु
औरंगजेब रोड- डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम मार्ग
मुकरबा चौक: शहीद कैप्टन विक्रम बतरा चौक
कई नामों को अब भी बदलने की हो रही मांग:
दिल्ली- इंद्रप्रस्थ
तुगलक रोड- गुरु गोबिंद सिंह मार्ग
अकबर रोड- महाराणा प्रताप रोड
औरंगजेब लेन- अब्दुल कलाम लेन
हुमायूं रोड- महर्षि वाल्मिकि रोड
शाहजहां रोड- जनरल बिपिन सिंह रावत रोड
बाबर रोड- 5 अगस्त मार्ग
दिल्ली का नाम भी बदलने की हुई थी मांग
दिल्ली की सड़कों और जगहों का नहीं बल्कि दिल्ली शहर का नाम बदलने की मांग भी समय-समय पर उठती रही है। अखिल भारतीय हिंदू महासभा और संत महासभा ने कुछ समय पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को पत्र लिखकर दिल्ली का नाम बदलकर इंद्रप्रस्थ रखने की मांग की थी।