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संस्था की रेड लाइट इलाके के लिए मांग: सेक्स वर्क व टॉयज को बैधता देने की ज़रूरत
दिल्ली न्यूज़: महिला सेक्स वर्करों को अधिकार दिलाने के लिए आज कई संस्थाएं काम कर रही है, लेकिन पहली बार एक ऐसी संस्था सामने आई है जो सेक्स वर्करों को स्वतंत्र कार्य करने देने और पुरूष भी अपने काम भावना को नि:संकोच पूरा कर सके, इसके लिए रेड लाइट इलाके में वेश्यावृति, पोर्नोग्राफी व सेक्सुअल टॉयज को अवैध से वैध करने की मांग उठाई है। इंडियंस फॉर सेक्सुअल लिबर्टीज संगठन के प्रमुख डॉ. लक्ष्मण सिंह ने कहा कि श्रीराम ने रामायण में कहा है कि काम भावना के दमन के कारण मनुष्य में व्याधियों उत्पन्न हो जाती है। आज देश में समस्याओं का एक बड़ा कारण काम भावना है, जिसके कारण प्रत्येक वर्ष माता-पिता के मर्जी के बगैर बच्चे पैदा हो रहे हैं। इस कारण देश में गरीबी, बेरोजगारी जैसी समस्या पैदा हो रही है। लक्ष्मण सिंह का कहना है कि देश में 20 लाख से ज्यादा महिला योनकर्मी हैं, उनके इस कार्य को वैधता प्रदान की जाए। दूसरा सेक्सुअल टॉयज (यौन खिलौने) से कोई नुकसान नहीं पहुंचता है।
आज करोड़ों लोग कई कारणों से देर से विवाह करते हैं, उनके लिए सेक्सुअल टॉयज एक अच्छा साधन साबित होंगे। साथ ही रेड लाइट इलाके में अगर देह व्यापार को वैधता प्रदान की जाती है सेक्स वर्करों को पुलिस व बिचौलियों के आतंक से मुक्ति मिलेगी। यह संगठन वर्ष 2009 से उपरोक्त मांग को उठा रही है तथा 2012 में संगठन ने 21 अप्रैल के दिन जंतर-मंतर दिल्ली में यौन स्वतंत्रता परेड का आयोजन किया था।