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आज के दौर में यूट्यूब कमाई का एक बड़ा जरिया बन गया है
आज के दौर में यूट्यूब कमाई का एक बड़ा जरिया बन गया है. कई यूजर्स इस प्लेटफॉर्म पर वीडियो बनाते हैं और लाखों में पैसे कमाते हैं. लेकिन आज एक नए ऐलान में गूगल ने भारतीय यूट्यूबर्स को मेल भेजकर चेतावनी दी है. इस चेतावनी में गूगल ने साफ किया है कि इस साल 31 मई के बाद वो हर यूट्यूबर्स की कमाई पर टैक्स लगाएगा. यानी अगर आप अपने यूट्यूब चैनल से महीने के 1 लाख रुपए कमाते हैं और ऊपर दिए तारीख से पहले अपने टैक्स डॉक्यूमेंट जमा नहीं करते हैं तो यूट्यूब आपके महीने की कुल कमाई से 24,000 रुपए की कटौती कर देगा. यूट्यूब ने सभी यूट्यूबर्स को ऑफिशियल मेल भेजा है.
ये सबकुछ अमेरिका से बाहर वाले कंटेंट क्रिएटर्स पर लागू होगा. अमेरिकी यूट्यूबर्स पर इसका कोई असर नहीं होगा. इस टैक्स की शुरुआत जून 2021 से हो सकती है. गैजेट्स Now की खबर के मुताबित गूगल ने अपने ऑफिशियल कम्यूनिकेशन में कहा कि, पिछले कुछ हफ्तों में हम आपसे Adsense में टैक्स भरने को लेकर भी जानकार मांगेंगे. अगर आपके टैक्स की जानकारी 31 मई 2021 तक नहीं आती है गूगल आपके महीने की कुल कमाई से 24 प्रतिशत पैसे काट लेगा.
यहां यूजर्स के लिए समझने वाली बात यह है कि, इन पैसों में वो भी हिस्सा शामिल होगा जो आपने विज्ञापन और अमेरिकी यूजर्स से कमाएं हैं. वहीं लिस्ट में यूट्यूब प्रीमियम, सुपर चैट, सुपर स्टीकर्स और चैनल मेंबरशिप्स भी शामिल होगा. कंपनी ने कहा कि, अगर आप टैक्स डॉक्टूमेंट में पूरी जानकारी देते हैं तो आपको अमेरिका के बाहर वाले व्यूअर्स के लिए टैक्स नहीं देना होगा और न ही उन पैसों पर कोई टैक्स लगेगा.
क्या है नया टैक्स नियम?
अगर आप इसपर ध्यान नहीं देते हैं और अपना टैक्स इंफो जमा नहीं करते हैं तो आपको अपने महीने की कुल कमाई में से 24 प्रतिशत हिस्सा देना होगा. वहीं अगर आप टैक्स की जानकारी देते हैं और ट्रीटी बेनिफिट के लिए एलिजिबल होते हैं तो आपको उन अमेरिकी व्यूअर्स के लिए 15 प्रतिशत टैक्स देना होगा जिनकी मदद से आपने पैसे कमाएं हैं. वहीं अगर आप टैक्स भरते हैं और टैक्स ट्रीटी के लिए एलिजिबल नहीं हैं तो आपको 30 प्रतिशत टैक्स देना होगा. ये टैक्स अमेरिका व्यूअर्स से होने वाले कमाई पर देना होगा.
भारतीय कंटेंट क्रिएटर्स को कितना देना होगा टैक्स?
गूगल ने एक उदाहरण के तौर पर बताया कि, भारत में अगर एक कंटेंट क्रिएटर 1000 डॉलर महीने का कमाता है. और उसमें से 100 डॉलर उसने अमेरिकी व्यूअर्स की मदद से कमाएं हैं तो उसे अपने महीने की कुल कमाई यानी की 1000 डॉलर का 24 प्रतिशत हिस्सा देना होगा जो 240 डॉलर है. बता दें कि इस खबर के एक बात तो तय है कि भारत के कंटेंट क्रिएटर्स की मुश्किलें और बढ़ सकती हैं क्योंकि अमेरिका के मुकाबले भारत के यूट्यूबर्स को पहले ही कम पैसे मिलते हैं.
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