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देश में गन्नों की पेराई का सीजन एक अक्टूबर से आरंभ होता है.
देश में चीनी का उत्पादन चालू गन्ना पेराई सीजन 2020-21 के शुरुआती चार महीने में पिछले साल के मुकाबले 25 फीसदी से ज्यादा बढ़कर 176.83 लाख टन हो गया है. ब्राजील के बाद भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा चीनी उत्पादक है और देश में गन्नों की पेराई का सीजन एक अक्टूबर से आरंभ होता है.
निजी चीनी मिलों का शीर्ष संगठन इंडियन शुगर मिल्स एसोसिएशन (इस्मा) द्वारा मंगलवार को जारी चीनी उत्पादन के आंकड़ों के अनुसार, देशभर में चालू 491 मिलों में 31 जनवरी तक चीनी का उत्पादन 176.83 लाख टन हुआ, जोकि पिछले साल की इसी अवधि के उत्पादन के आंकड़े 141.04 लाख टन से 25 फीसदी ज्यादा है.
महाराष्ट्र में दोगुना हुआ उत्पादन
देश का प्रमुख चीनी उत्पादक राज्य महाराष्ट्र में चालू 182 चीनी मिलों ने 63.80 लाख टन चीनी का उत्पादन किया, जबकि पिछले साल इसी अवधि में 140 मिलें चालू थीं और उत्पादन 34.64 लाख टन हुआ था. पिछले साल के मुकाबले महाराष्ट्र में चीनी का उत्पादन दोगुना हो गया है. वहीं, उत्तर प्रदेश में 120 मिलों में चीनी का उत्पादन 54.43 लाख टन हुआ है, जबकि पिछले सीजन की इसी अवधि के दौरान 119 मिलों ने 54.96 लाख टन चीनी का उत्पादन किया था.
कर्नाटक में भी बढ़ा उत्पादन
कर्नाटक की 66 मिलों ने 34.38 लाख टन चीनी उत्पादन किया, जबकि पिछले साल 63 मिलें 31 जनवरी तक दौरान चालू थीं और चीनी का उत्पादन 27.94 लाख टन हुआ था. गुजरात में पिछले साल के 4.87 लाख टन के मुकाबले इस साल अब तक 5.55 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है. कर्नाटक के अलावा बिहार, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और ओडिशा जैसे राज्यों का हाल भी बेहतर रहा है.
अन्य राज्यों का हाल
अन्य दक्षिणी प्रांत तमिलनाडु, आंध्रप्रदेश और तेलंगाना में 3.56 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है, जबकि पिछले साल इसी अवधि में 4.39 लाख टन हुआ. बाकी राज्य बिहार, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और ओडिशा में चीनी का उत्पादन 15.11 लाख टन हुआ है. इस्मा ने बताया कि चालू सीजन के पहले तीन महीनों के दौरान चीनी की बिक्री तकरीबन 67.5 लाख टन रहने की रिपोर्ट है.
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