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मेटा के स्वामित्व वाले व्हाट्सएप (WhatsApp) ने पुष्टि की है कि वह अपनी डिजिटल भुगतान सेवा पर अधिक उपयोगकर्ताओं को आकर्षित करने के लिए भारत में कैश-बैक अभियान चला रहा है।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | मेटा के स्वामित्व वाले व्हाट्सएप (WhatsApp) ने पुष्टि की है कि वह अपनी डिजिटल भुगतान सेवा पर अधिक उपयोगकर्ताओं को आकर्षित करने के लिए भारत में कैश-बैक अभियान चला रहा है।
कंपनी व्हाट्सएप पर यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) के जरिए तीन अलग-अलग कॉन्टैक्ट्स को पैसे भेजकर तीन बार तक 11 रुपये का कैशबैक दे रही है। यानी कंपनी एक शख्स को 33 रुपये तक का कैश-बैक दे रही है।
कंपनी के प्रवक्ता ने एक समाचार एजेंसी को बताया, 'हम अपने उपयोगकर्ताओं को व्हाट्सएप पर भुगतान करने के लिए प्लटफॉर्म पर लाने के लिए चरणबद्ध तरीके से कैशबैक प्रोत्साहन की पेशकश करने वाला एक अभियान चला रहे हैं।' उन्होंने आगे कहा कि हम अगले 500 मिलियन भारतीयों को डिजिटल भुगतान के मंच पर लाने के अपने व्यापक प्रयासों के तहत व्हाट्सएप पर भुगतान के बारे में जागरूकता बढ़ाना जारी रखेंगे।
व्हाट्सएप के अनुसार, 'यदि आप प्रचार के लिए योग्य हो जाते हैं, तो आपको ऐप के भीतर एक बैनर, या किसी पात्र प्राप्तकर्ता को पैसे भेजते समय एक गिफ्ट आइकन दिखाई देगा। एक बार चुने जाने के बाद, आप अपने किसी भी पंजीकृत व्हाट्सएप संपर्क को पैसे भेज सकते हैं और प्रति सफल लेनदेन पर 11 रुपये कैशबैक प्राप्त कर सकते हैं।'
Google और पेटीएम ने भी अपने-अपने प्लेटफॉर्म पर अधिक लोगों को जोड़ने के लिए उपयोगकर्ताओं को कैश-बैक की पेशकश की है
इसके अलावा व्हाट्सएप ने कहा कि वह क्यूआर कोड भुगतान, संग्रह अनुरोधों पर किए गए भुगतान या प्राप्तकर्ता की यूपीआई आईडी दर्ज करके किए गए भुगतान के साथ-साथ व्हाट्सएप का उपयोग करने वाले तीसरे पक्ष के ऑनलाइन ऐप पर भुगतान के लिए कैश-बैक की पेशकश नहीं करेगा। बता दें कि हाल ही में, नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) ने वॉट्सएप के यूजर्स की अपनी भुगतान सेवा की सीमा को 100 मिलियन तक बढ़ा दिया था। यह पॉजीटिव सिग्नल है, क्योंकि भारत में इसके पहले से ही 400 मिलियन+ यूजर हैं जो हर दिन सहकर्मियों, दोस्तों और बहुत कुछ के लिए ऐप का लाभ उठा रहे हैं।
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