व्यापार

रिलायंस इंडट्रीज ने वायाकॉम18 का सोनी के साथ विलय के प्रस्ताव को किया रद्द

Tara Tandi
5 Oct 2020 1:16 PM GMT
रिलायंस इंडट्रीज ने वायाकॉम18 का सोनी के साथ विलय के प्रस्ताव को किया रद्द
x
पांच अक्टूबर (भाषा) दिग्गज उद्योगपति मुकेश अंबानी की रिलायंस इंडट्रीज ने अपने समूह के मनोरंजन कारोबार का सोनी पिक्चर्स...

जनता से रिश्ता वेबडेस्क| नयी दिल्ली, पांच अक्टूबर (भाषा) दिग्गज उद्योगपति मुकेश अंबानी की रिलायंस इंडट्रीज ने अपने समूह के मनोरंजन कारोबार का सोनी पिक्चर्स नेटवर्क्स इंडिया में विलय के प्रस्ताव को रद्द कर दिया है। रणनीतिक पुनर्विचार के बाद कंपनी ने यह कदम उठाया है। अंबानी के टेलीविजन नेटवर्क वायाकॉम18 मीडिया प्राइवेट लि. के अंतर्गत हैं। इसका सोनी कॉरपोरेशन में विलय का प्रस्ताव था। इसमें जापानी कंपनी की बड़ी हिस्सेदारी होती। मामले से जुड़े सूत्रों ने बताया कि हालांकि रिलायंस ने अब इस सौदे पर पुनर्विचार किया और विलय प्रस्ताव पर कदम आगे नहीं बढ़ाने का निर्णय किया है।इसके बजाए कंपनी अब डिजिटल रूप से कार्यक्रम तैयार करने में और निवेश करने को लेकर गंभीर है। सूत्रों ने कहा कि डिजिटल मीडिया और मनोरंजन दूरसंचार इकाई जियो के डिजिटल करोबार रणनीति का महत्वपूर्णू हिस्सा है। रिलायंस ने अब डिजिटल मीडिया को आगे बढ़ाने के लिये बड़े पैमाने पर निवेश की योजना बनायी है। उसने कहा कि रिलायंस प्रबंधन नियंत्रण अपने पास रखना चाहता है और निवेश के पीछे लक्ष्य इसे देश का नंबर एक ओटीटी (ओवर द टॉप) इकाई के साथ प्रसारण मंच बनाना है।

रिलायंस और जियो के साथ भागीदारी को लेकर मनोरंजन व अन्य कार्यक्रम बनाने वाली कंपनियों और प्रोडक्शन कंपनियों ने इच्छा जतायी है। निवेशक भी इस प्रकार की भागीदारी का समर्थन कर रहे हैं। इस बारे में रिलायंस को ई-मेल भेजकर जानकारी मांगी गयी, लेकिन उनकी तरफ से कोई जवाब नहीं आया। वायाकॉम18 मीडिया प्राइवेट लि. टीवी18 ब्रोडकास्ट लि. और वायाकॉम इंक की संयुक्त उद्यम है। टीवी 18 की इस इकाई में 51 प्रतिशत हिस्सेदारी है। फिलहाल वायाकॉम18 सात भाषाओं में 40 से अधिक चैनलों का प्रसारण करती है।इसके अलावा वह फिल्म कंपनी...वायाकॉम18 मोशन पिक्चर्स, वीडियो स्ट्रीमिंग मंच वूट के साथ वितरण कंपनी इंडिया कास्ट मीडिया का भी परिचालन करती है। दूसरी तरफ सोनी पिक्चर्स नेटवर्क्स इंडिया सोनी कार्प की अनुषंगी है। इसके 20 से अधिक चैनल हैं जिसमें कई खेल के चैनल हैं। रिपोर्ट से यह भी पता चला कि इस सौदे में विलय के बाद बनने वाली इकाई में सोनी की बहुलांश हिस्सेदारी होती। वहीं रिलायंस इसमें बहुमत वाली हिस्सेदारी चाह रही थी जिसको लेकर सोनी सहमत नहीं थी।

Next Story