व्यापार

एसबीआई समेत सरकारी बैंकों ने जनहित की दी दुहाई, कर्मचारियों से बैंक हड़ताल वापस लेने की अपील

Bhumika Sahu
14 Dec 2021 3:03 AM GMT
एसबीआई समेत सरकारी बैंकों ने जनहित की दी दुहाई, कर्मचारियों से बैंक हड़ताल वापस लेने की अपील
x
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई), इंडियन बैंक, यूको बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ इंडिया, पंजाब एंड सिंध बैंक और केनरा बैंक जैसे सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों ने अपने कर्मचारियों से दो दिवसीय हड़ताल शुरू करने के निर्णय को वापस लेने की अपील की है।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई), इंडियन बैंक, यूको बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ इंडिया, पंजाब एंड सिंध बैंक और केनरा बैंक जैसे सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों ने अपने कर्मचारियों से दो दिवसीय हड़ताल शुरू करने के निर्णय को वापस लेने की अपील की है। बैंक कर्मचारियों ने गुरुवार 16 और शुक्रवार 17 दिसंबर को दो दिन हड़ताल करने की घोषणा की है। ग्राहकों को असुविधाओं से बचाने के लिए यह अपील की गई है।

क्या कहते हैं कर्मचारी यूनियन
वहीं, कर्मचारी संघों ने जोर देकर कहा कि सरकार को पहले सरकारी बैंकों के निजीकरण की अपनी योजना को समाप्त करना चाहिए।ऑल इंडिया बैंक ऑफिसर्स कन्फेडरेशन (एआईबीओसी) और ऑल इंडिया स्टेट बैंक ऑफिसर्स फेडरेशन (एआईएसबीओएफ) की महासचिव सौम्या दत्ता ने कहा, "हम हड़ताल पर आगे बढ़ रहे हैं, जब तक कि सरकार बैंकों के निजीकरण के लिए प्रस्तावित विधेयक को वापस लेने का आश्वासन नहीं देती।"
एसबीआई ने लिया सोशल मीडिया का सहारा
भारत के सबसे बड़े बैंक एसबीआई ने अपने कर्मचारियों से हड़ताल वापस लेने की अपील करने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया। बैंक ने एक ट्वीट में कहा, "हम अपने स्टाफ सदस्यों से अपने फैसले पर पुनर्विचार करने और अपने ग्राहकों, निवेशकों और बैंक के हित में 16 और 17 दिसंबर 2021 को प्रस्तावित हड़ताल में भाग लेने से परहेज करने का अनुरोध करते हैं। इसके अलावा चल रही महामारी की स्थिति को देखते हुए, हड़ताल का सहारा लेने से हितधारकों को बड़ी असुविधा होगी। "
केनरा बैंक ने एक ट्वीट में कहा कि बैंक ने विभिन्न मुद्दों पर चर्चा के लिए 14 दिसंबर को संबंधित पक्षों के साथ बैठक बुलाई है। इंडियन बैंक ने ट्वीट किया, ''अपने ग्राहकों को निर्बाध सेवाएं सुनिश्चित करने के लिए हमने प्रमुख संघों / यूनियनों के नेताओं को चर्चा के लिए आमंत्रित किया है और उनसे 16 और 17 दिसंबर, 2021 को प्रस्तावित हड़ताल वापस लेने की अपील की है।''
यूको बैंक ने भी अपनी यूनियनों से ग्राहकों के हित में देशव्यापी बैंक हड़ताल को वापस लेने का अनुरोध किया है। इसी तरह सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया ने यूनियनों से कहा है कि वे अपने सदस्यों को बैंक के समग्र विकास के लिए अपने प्रदर्शन को बेहतर बनाने को अधिकतम प्रयास करने की सलाह दें।
क्यों होने वाली है हड़ताल
हाल ही में सालाना बजट पेश करने के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने विनिवेश के ज़रिए 1.75 लाख करोड़ रुपये जुटाने की घोषणा की थी। मोदी सरकार कई सरकारी कंपनियों के साथ-साथ कुछ बैंकों के निजीकरण के ज़रिए इतनी रक़म जुटाएगी। बैंक कर्मचारी संघ वर्तमान सत्र में मौजूदा कानूनों में संशोधन करके दो सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के निजीकरण के सरकार के प्रस्तावित कदम का विरोध कर रहे हैं।
आज होगी बैठक
इस बीच, कर्मचारी संघों के सदस्य इस मामले को लेकर आज यानी मंगलवार सुबह श्रम शक्ति भवन में श्रम आयुक्त से मुलाकात कर रहे हैं, जहां केंद्रीय वित्त मंत्रालय और भारतीय बैंक संघ (आईबीए) के प्रतिनिधि रहेंगे। आईबीए के अध्यक्ष एके गोयल ने एक ट्वीट में कहा, " हमारी अर्थव्यवस्था अब तेज गति से ठीक हो रही है और प्रस्तावित हड़ताल से केवल ग्राहकों को असुविधा होगी और वसूली को नुकसान होगा। यूएफबीयू (यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियंस) से दो दिनों की हड़ताल वापस लेने की अपील की गई है।"


Next Story