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Aadhaar Card की तारीफ करते हुए नीति आयोग ने कहा- सरकारी योजनाओं के लिए बना 'आधार', सरकार के 2 लाख करोड़ रुपये बचाए

Renuka Sahu
2 Jun 2022 4:07 AM GMT
Praising the Aadhaar Card, NITI Aayog said – Aadhaar made for government schemes, saved the government Rs 2 lakh crore
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फाइल फोटो 

नीति आयोग का दावा है कि आधार कार्ड से नकली पहचान पत्र को पकड़ने में काफी सहुलियत हुई है और इसकी वजह से सरकार को करोड़ों रुपये का फायदा हुआ है.

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। नीति आयोग (NITI Aayog) का दावा है कि आधार कार्ड से नकली पहचान पत्र को पकड़ने में काफी सहुलियत हुई है और इसकी वजह से सरकार को करोड़ों रुपये का फायदा हुआ है. नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ कांत (CEO Amitabh Kant) ने बुधवार को कहा कि आधार कार्ड सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के लिए 'आधार' बन गया है और 'नकली और डुप्लिकेट पहचान' (Duplicate Identities) को खत्म करके सरकार की 2 लाख करोड़ रुपये से अधिक की बचत हुई है.

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में 'रिसेंट इनीसिएटिव्स फॉर सिम्पलीफाइंग आधार यूजेज' (Recent Initiatives for Simplifying Aadhaar usage) पर आयोजित एक कार्यशाला में भाग लेते हुए, अमिताभ कांत ने कहा, "आधार सरकारी कल्याण योजनाओं के लिए अहम आधार बन गया है और बिना किसी हस्तक्षेप या बिचौलियों के तेजी से लाभ हस्तांतरण सुनिश्चित करता है और बड़ी मात्रा में धन भी बचाता है."
आधार योजना ने वर्ल्ड बैंक तक को प्रभावित कियाः कांत
उन्होंने आधार को दुनिया में "सबसे सफल" बायोमेट्रिक-आधारित पहचान कार्यक्रमों में से एक करार देते हुए कहा, "इसने वर्ल्ड बैंक और संयुक्त राष्ट्र संघ जैसी अंतरराष्ट्रीय बहुपक्षीय एजेंसियों के साथ विचार-विमर्श और चर्चा को प्रेरित किया है, जिससे यह पता लगाया जा सके कि आधार ऑर्किटेक्चर (Aadhar Architecture) को अन्य देशों में कैसे अपनाया जा सकता है."
नीति आयोग के प्रमुख कांत ने कहा, "यह जानना प्रशंसनीय है कि 315 केंद्रीय योजनाएं और 500 राज्य स्तरीय योजनाएं सेवाओं के प्रभावी वितरण को सुनिश्चित करने के लिए आधार का लाभ उठा रही हैं… आधार अब सरकारी कल्याणकारी योजनाओं के लिए अहम आधार बन गया है, यह बिना किसी रुकावट या बिचौलियों के तेजी से लाभ हस्तांतरण को सुनिश्चित करता है. इससे नकली और डुप्लिकेट पहचान को खत्म करने में मदद मिलती है और इसकी वजह से 2.22 लाख करोड़ रुपये की बचत भी होती है."
12 अंकों का होता है आधार कार्ड
आधार कार्ड यूआईडीएआई (प्राधिकरण") द्वारा निर्धारित सत्यापन प्रक्रिया को पूरा करने के बाद भारत के निवासियों को जारी किया गया एक 12 अंकों का आधार नंबर (Random Number) है. कोई भी व्यक्ति, चाहे वह किसी भी उम्र और लिंग का हो, जो भारत का निवासी है, स्वेच्छा से आधार संख्या प्राप्त करने के लिए नामांकन दाखिल कर सकता है.
नामांकन के इच्छुक शख्स को नामांकन प्रक्रिया के दौरान न्यूनतम जनसांख्यिकीय (Minimal Demographic) और बायोमेट्रिक जानकारी (Biometric Information) देनी होगी जो पूरी तरह से निःशुल्क है. एक व्यक्ति को केवल एक बार आधार के लिए नामांकन करने की जरुरत पड़ती है और डी-डुप्लीकेशन के बाद केवल एक आधार ही जनरेट होगा.
यह विश्व स्तर पर अपनी तरह का एकमात्र कार्यक्रम है, जिसमें लोगों को इतने बड़े पैमाने पर एक अत्याधुनिक डिजिटल और ऑनलाइन आईडी मुफ्त में प्रदान की जा रही है, और इसमें सेवा वितरण कार्यों के तरीके को बदलने की क्षमता है.
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