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भारत के इलेक्ट्रॉनिक ऑटोमोबाइल बाजार पर स्वदेशी कंपनी टाटा का दबदबा है. कंपनी की टाटा नेक्सॉन ईवी (Tata Nexon EV) सेगमेंट की बेस्टसेलिंग कार है.
भारत के इलेक्ट्रॉनिक ऑटोमोबाइल बाजार पर स्वदेशी कंपनी टाटा का दबदबा है. कंपनी की टाटा नेक्सॉन ईवी (Tata Nexon EV) सेगमेंट की बेस्टसेलिंग कार है. इसका ज्यादा लंबी रेंज वाला वर्जन टाटा नेक्सॉन ईवी मैक्स (Tata Nexon EV Max) भी भारतीय बाजार में खूब पॉप्युलर है. टाटा टिगार ईवी (Tata Togore EV) की भी हर महीने अच्छी सेल होती है. इसके अलावा कंपनी टाटा अल्ट्रॉज का भी इलेक्ट्रिक वर्जन (Tata Altroz EV) भी लाने की तैयारी कर रही है. इन इन मॉडल्स के दम पर कंपनी देश की नंबर 1 इलेक्ट्रिक कार निर्माता कंपनी है.
टाटा के पास इस सेगमेंट में पहले आने का फायदा जरूर है, जबकि बाकी कंपनियां इलेक्ट्रिक मार्केट में निवेश को लेकर सुनिश्चित नजर नहीं आती. हाल ही में टाटा नेक्सॉन में आग लगने का मामला सामने आया था. हालांकि यह अपनी तरह का पहला मामला था. अच्छी बात यह रही कि नेक्सॉन ईवी में वक्त पर वॉर्निंग फ्लैश हुई और कार चालक समय पर बाहर आ गया.
टाटा नेक्सॉन के एक ऑनर ने सोशल मीडिया पर अपना अनुभव शेयर किया. ऑनर के मुताबिक उन्होंने 2 साल में यह कार 68,000 किमी चलाई है. ऑनर की शिकायत है कि इसके बाद कार की रेंज कम हो गई और 15 पर्सेंट से कम बैटरी होने पर कार स्टार्ट भी नहीं होती. चूंकि बैटरी वॉरंटी में थी इसलिए कंपनी ने बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के ग्राहक की बैटरी रिप्लेस कर दी. जब कार मालिक ने बैटरी की कीमत के बारे में जानकारी मांगी तो डीलर की ओर से उन्हें बताया गया कि बैटरी की कॉस्ट 7 लाख रुपये है. जी हां ! 7 लाख रुपये. हालांकि यह कीमत टाटा मोटर्स की ओर से आधिकारिक तौर पर नहीं बताई गई है.
भारत में इलेक्ट्रिक कारों के लिए जरूरी टेक्नॉलजी बहुत शुरुआती दौर में है. भारत में इलेक्ट्रिक कारों के लिए बैटरी अभी विदेशों से आयात की जाती है और इस वजह से यह काफी महंगी है. टाटा की लोकप्रियता बीते कुछ वक्त में एक कार निर्माता ब्रैंड के तौर पर काफी बढ़ी है. टाटा मोटर्स ने मौजूदा वित्त वर्ष में ग्लोबल सेल्स की मामले 50 पर्सेंट की ग्रोथ दर्ज की. वर्तमान यह मारुति और ह्यूंदै के बाद देश की तीसरी सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी है.
Ritisha Jaiswal
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