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तो ब्राउजर को रीलॉन्च करना होगा। इस तरह गूगल क्रोम का लेटेस्ट वर्जन पूरी तरह से इंस्टॉल हो जाएगा।
भारत सरकार ने गूगल क्रोम यूजर्स को सतर्क रहने की चेतावनी जारी की है। दरअसल मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी की इंडियन कंप्यूटर इमर्जेंसी रिस्पांस टीम (CERT-In) की तरफ से गूगल क्रोम (Google Chrome) यूजर पर साइबर हमले का अंदेशा जताया है। CERT-In के मुताबिक क्रोम ब्राउजर में कई तरह की खामियां मिली हैं, जो कि साइबर हमले के लिए जिम्मेदार हो सकती हैं। इससे बचने के लिए CERT-In की तरफ से एडवाइजरी जारी की गई है।
साइबर हमले से बचने के लिए क्या करें
CERT-In ने साइबर हमले से बचने के लिए तुरंत क्रोम ब्राउजर को अपडेट करने का निर्देश जारी किया है। रिपोर्ट के मुताबिक अगर क्रोम ब्राउजर को अपडेट नहीं किया गया, तो हैकर्स मनमाने कोड का इस्तेमाल करके सिस्टम का कंट्रोल हासिल कर सकते हैं। इस माह की शुरुआत में क्रोम 98 की खामियों को Google ने ठीक किया है। एजेंसी ने कहा कि 98.0.4758.80 से पहले के Google क्रोम वर्जन को हैक किया जा सकता है।
गूगल ने जारी किए फिक्स
Google ने हाल ही में ने पब्लिकली विंडोज, मैकओएस और लिनक्स यूजर्स के लिए क्रोम 98 जारी करने का ऐलान किया था। कंपनी ने कहा कि अपडेट में कुल 27 सिक्योरिटी फिक्स शामिल हैं। गगूल ने अपडेट जारी करते हुए ऐलान किया कि बग डिटेल और लिंक के एक्सेस को प्रतिबंधित रखा जाएगा, जब तक ज्यादातर यूजर्स को गूगल क्रोम ब्राउजर अपडेट नहीं मिल जाता है। कंपनी ने आगे कहा कि हम बग और लिंक्स के एक्सेस को प्रतिबंध रख सकते हैं, अगर थर्ड लाइब्रेसी और प्रोजेक्ट में मौजूद रहते हैं।
साइबर हमले से बचाव के लिए क्या करें?
Google Chrome को बैकग्राउंड में ऑटोमैटिक अपडेट मिलते हैं। हालांकि अगर अपडेट नहीं मिलता है, तो यूजर्स को मैन्युअल रूप से क्रोम को अपडेट करना होगा। इसके लिए यूजर्स को Chrome और फिर About Google Chrome पर विजिट करना होगा। एक बार जब गूगल क्रोम डाउनलोड हो जाएगा, तो ब्राउजर को रीलॉन्च करना होगा। इस तरह गूगल क्रोम का लेटेस्ट वर्जन पूरी तरह से इंस्टॉल हो जाएगा।
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