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नई आबकारी नीति से कई लक्ष्य साधेगी सरकार

Rani Sahu
31 Jan 2023 10:34 AM GMT
नई आबकारी नीति से कई लक्ष्य साधेगी सरकार
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लखनऊ, (आईएएनएस)| उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में बीते दिनों संपन्न हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में नई आबकारी नीति को मंजूरी दी गई। इस एक कदम से यूपी सरकार ने कई लक्ष्यों को साधने का प्रयास किया है। प्रारंभिक अनुमान के अनुसार वर्ष 2022-23 में प्रदेश में लगभग 29.30 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में गन्ने का उत्पादन किया जा रहा है। प्रदेश के गन्ना किसानों को उनके उत्पाद पर सही मूल्य मिले इसके लिए वैल्यू चेन के प्रत्येक अंश की उत्पादकता बढ़ाया जाना एवं उसके मूल्य संवर्धन हेतु प्रयास किया जाना आवश्यक है।
आबकारी विभाग का प्रयास यह है कि चीनी निर्माण की प्रक्रिया में सह-उत्पाद के रूप में प्राप्त शीरे का सदुपयोग हो तथा इससे उत्पादित अल्कोहल का उपयोग विभिन्न प्रकार के रसायनों, एथनॉल ब्लेंडेड पेट्रोल, सैनिटाइजर एवं मदिरा निर्माण के लिए हो सके, जिससे प्रदेश में औद्योगिकीकरण को बढ़ावा मिलेगा।
वर्ष 2022-23 में गन्ना उत्पादन 29.30 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में अनुमानित है तथा खड़ी फसल के आधार पर प्रदेश में लगभग 1170.73 लाख टन गन्ने की पेराई का अनुमान है। चीनी मिलों द्वारा गन्ने से चीनी, बगास शीरा, प्रेसमड आदि उत्पादित किया जाता है। प्रदेश की चीनी मिलों में सह-उत्पाद के रूप में उत्पादित शीरा प्रचुर मात्रा में उपलब्ध होने के कारण प्रदेश में अल्कोहल उद्योग के विकास की प्रबल संभावनाएं हैं। वर्तमान समय में एथनॉल उत्पादन एक अच्छा विकल्प है। पर्यावरणीय प्रदूषण को नियंत्रित किए जाने के उद्देश्य से भी शीरे की क्षति अथवा इसकी गुणवत्ता में नुकसान को रोकते हुये इसका जल्द उपयोग किया जाना आवश्यक है।
भारत सरकार की वर्तमान नीति के अनुसार इंधन में इस्तेमाल होने वाले पेट्रोल में 10 प्रतिशत की सीमा तक एथनॉल को मिश्रित किया जाना अनिवार्य है। इससे पेट्रोल के आयात पर होने वाली विदेशी मुद्रा की आंशिक बचत होती है। इस नीति के अन्तर्गत प्रदेश में उत्पादित एथनॉल से प्रदेश में स्थित पेट्रोलियम डिपोज को एथनॉल की आपूर्ति के साथ-साथ अन्य प्रदेशों में स्थित पेट्रोलियम डिपोज में मिश्रित किए जाने के लिए एथनॉल का निर्यात किया जाता है।
इस क्रम में वित्तीय वर्ष 2021-22 में कुल 96.55 करोड़ बल्क लीटर एथनॉल की निकासी हुई थी, जिसमें से 43.95 करोड़ बल्क लीटर उत्तर प्रदेश के आयल डिपोज को सप्लाई की गई तथा 52.60 करोड़ बल्क लीटर का निर्यात अन्य राज्यों को किया गया।
वर्तमान वित्तीय वर्ष में नवंबर, 2022 तक कुल 87.57 करोड़ बल्क लीटर एथनॉल की निकासी हुई, जिसमें से 43.55 करोड़ बल्क लीटर उत्तर प्रदेश के आयल डिपोज को आपूर्ति की गई तथा 44.01 करोड़ बल्क लीटर का निर्यात अन्य राज्यों को किया गया। केंद्र सरकार के एथनॉल ब्लेंडेड पेट्रोल (ई.बी.पी.) प्रोग्राम को सफल बनाने के लिए एथनॉल का उत्पादन करने वाली इकाइयों को प्रोत्साहित किया जा रहा है तथा पावर अल्कोहल (एथनॉल) की उठान, निकासी की प्रक्रिया को सुगम बनाया गया है। इसके लिए उठान हेतु ऑनलाइन व्यवस्था लागू की गई है।
सरकार से मिली जानकारी के अनुसार अल्कोहल वर्ष 2021-22 में माह नवंबर, 2022 तक गत वर्ष की समान अवधि के सापेक्ष अल्कोहल के उत्पादन में 13.3 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
विभाग का अनुसार औद्योगिकीकरण को बढ़ावा देने, विदेशी एवं देशी निवेश को आकर्षित करने, सेवाओं को सुगम बनाने, लाइसेंस के आवंटन में निष्पक्षता एवं पारदर्शिता रखने, मदिरा उद्योग, व्यवसाय से हितबद्ध लाइसेंस होल्डर पर नियंत्रण रखने, उपभोक्ताओं को उनकी रुचियों के अनुसार जानकारी प्रदान करने तथा जिम्मेदार एवं सुरक्षित सीमा में मदिरा सेवन करने हेतु सूचना प्रौद्योगिकी का उपयोग किया जाए। इससे एक और जहां प्रक्रियाओं का सरलीकरण होगा, वहीं दूसरी ओर समस्त स्टेक होल्डर्स को प्रत्येक स्तर की जानकारी सूचना प्रौद्योगिकी के माध्यम से सुलभ हो सकेगी।
--आईएएनएस
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