व्यापार

आज से ईपीएफओ के केंद्रीय न्यासी बोर्ड की बैठक, PF की ब्याज दर 8.50 प्रतिशत से घटेगी या बढ़ेगी

Kunti Dhruw
11 March 2022 1:57 AM GMT
आज से ईपीएफओ के केंद्रीय न्यासी बोर्ड की बैठक, PF की ब्याज दर 8.50 प्रतिशत से घटेगी या बढ़ेगी
x
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) की बैठक शुक्रवार (आज) से गुवाहाटी में होने जा रही है।

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के केंद्रीय न्यासी बोर्ड (सीबीटी) की बैठक शुक्रवार (आज) से गुवाहाटी में होने जा रही है। इस दो दिवसीय बैठक में चालू वित्त वर्ष के लिए भविष्य निधि (पीएफ) की ब्याज समेत कई प्रस्तावों पर फैसले लिए जाने की संभावना है।जानकारों का कहना है कि मौजूदा आर्थिक हालातों को देखते हुए सीबीटी चालू वित्त वर्ष में ब्याज दरों में कमी या स्थिर रखने का फैसला रख सकता है। रिपोर्टों के मुताबिक, यदि कटौती की जाती है तो ब्याज दरों को 8.35 से 8.45 प्रतिशत के मध्य रखा जा सकता है। अभी पीएफ योगदान पर लाभार्थियों को 8.5 फीसदी की दर से ब्याज मिल रहा है।

सीबीटी से जुड़े एक सूत्रों का कहना है कि रूस-यूक्रेन युद्ध के चलते शेयर बाजारों पर पड़े असर से कमाई प्रभावित हो सकती है। ऐसे में वित्त वर्ष 2021-22 के लिए पीएफ की ब्याज दरों को स्थिर रखा जा सकता है। सूत्र के मुताबिक, ब्याज दरों में कटौती पर भी विचार किया जा सकता है।

100 करोड़ वरिष्ठ नागरिक कोष में ट्रांसफर होंगे

इस बैठक में ईपीएफओ के पास पड़ी बिना दावे वाली राशि से 100 करोड़ रुपये वरिष्ठ नागरिक कल्याण कोष में ट्रांसफर करने के लिए भी प्रस्ताव पेश किया जाएगा। वित्त मंत्रालय की ओर से 2015 में जारी नोटिफिकेशन के अनुसार, ईपीएफ, पीपीएफ और अन्य बचत योजनाओं में पड़ी बिना दावों की रकम को सात साल बाद वरिष्ठ नागरिक कल्याण कोष में ट्रांसफर कर दिया जाए।
बैठक में पेश होने वाले संभावित प्रस्ताव

विनिवेश के बाद एयर इंडिया के गैर-परिवर्तनकारी डिबेंचर (एनसीडी) का मोचन
बेहतर प्रदर्शन नहीं करने वाली सिक्युरिटीज से बाहर निकलने की पॉलिसी और मानक ऑपरेटिंग प्रक्रिया (एसओपी)
भारत बॉन्ड ईटीएफ की तीसरी किस्त में 400 करोड़ रुपये का निवेश
वर्ग-दो के तहत निवेश के विकल्प। इक्विटी निवेश से पूंजीगत लाभ की प्राप्ति
केंद्रीय आयुक्त को मिल सकते हैं ज्यादा अधिकार

इस बैठक में केंद्रीय भविष्य निधि आयुक्त (सीपीएफसी) को ज्यादा अधिकार मिल सकते हैं। इसमें ईपीएफओ की ओर से खरीदी जाने वाली सिक्युरिटीज के बेहतर प्रदर्शन नहीं करने पर जल्दी बिक्री के विकल्प का अधिकार भी शामिल है। जानकारों का कहना है कि उतार-चढ़ाव वाले बाजार में बाहर निकलने के लिए जल्द फैसलों लेने वाले अधिकार सीपीएफसी को दिए जाने चाहिए।


Next Story