केंद्र ने GST क्षतिपूर्ति के लिए 16 राज्यों को जारी किए 6000 करोड़ रुपये
जनता से रिश्ता वेबडेस्क| केंद्र सरकार ने महाराष्ट्र, गुजरात, बिहार, असम, दिल्ली और जम्मू कश्मीर समेत 16 राज्यों एवं दो केंद्र शासित प्रदेशों को माल एवं सेवा कर (जीएसटी) क्षतिपूर्ति की पहली किस्त के रूप में कर्ज लेकर 6,000 करोड़ रुपये हस्तांतरित किए हैं। वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। पिछले सप्ताह केंद्र ने जीएसटी क्षतिपूर्ति को लेकर विपक्षी दलों द्वारा शासित राज्यों की मांग को स्वीकार कर लिया था। उनकी मांग थी कि केंद्र स्वयं कर्ज लेकर राज्यों की जीएसटी की क्षतिपूर्ति करे।
वित्त मंत्रालय ने कहा कि केंद्र, राज्यों को जीएसटी संग्रह में 1.1 लाख करोड़ रुपये की कमी की क्षतिपूर्ति के लिए बाजार से किस्तों में कर्ज उठाएगा। मंत्रालय ने कहा कि भारत सरकार ने 2020-21 में जीएसटी संग्रह में कमी को पूरा करने के लिए विशेष कर्ज की व्यवस्था की है। कुल 21 राज्यों और दो केंद्र शासित प्रदेशों ने इस व्यवस्था का विकल्प चुना है। कर्ज को लेकर समन्वय वित्त मंत्रालय करेगा। इनमें से पांच राज्यों में जीएसटी क्षतिपूर्ति मद में कोई कमी नहीं है।
It has been decided to extend the due date for filing Annual Return (FORM GSTR-9/GSTR-9A) and Reconciliation Statement (FORM GSTR-9C) for Financial Year 2018-19 from 31st October 2020 to 31st December 2020: Central Board of Indirect Taxes and Customs (CBIC)
— ANI (@ANI) October 24, 2020
इन राज्यों को हस्तातंरित की गई राशि
मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि, 'केंद्र सरकार ने 6,000 करोड़ रुपये का कर्ज लेकर उसे 16 राज्यों को जारी किया है। ये 16 राज्य हैं- आंध्र प्रदेश, असम, बिहार, गोवा, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, मेघालय, ओडिशा, तमिलनाडु, त्रिपुरा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड। इसके अलावा दो केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली और जम्मू कश्मीर को भी राशि हस्तातंरित की गई है।
Due date for furnishing of Income Tax Returns for taxpayers (including their partners) who are required to get their accounts audited [for whom the due date (i.e. before the extension by new notification) as per Income Tax Act is 31 Oct 2020] is extended to 31 Jan 2021: CBDT
— ANI (@ANI) October 24, 2020
5.19 फीसदी ब्याज पर लिया गया कर्ज
बयान के अनुसार यह कर्ज 5.19 फीसदी ब्याज पर लिया गया है और इसकी मियाद मोटे तौर पर तीन से पांच साल के लिए है। मंत्रालय ने कहा कि वह हर सप्ताह राज्यों को 6,000 करोड़ रुपये जारी करेगा। वित्त मंत्रालय ने कहा कि इस व्यवस्था से केंद्र के राजकोषीय घाटे पर असर नहीं होगा और यह राज्य सरकारों की पूंजी प्राप्ति के रूप में प्रदर्शित होगा।
Due date for furnishing of Income Tax Returns for taxpayers (including their partners) who are required to get their accounts audited [for whom the due date (i.e. before the extension by new notification) as per Income Tax Act is 31 Oct 2020] is extended to 31 Jan 2021: CBDT
— ANI (@ANI) October 24, 2020
अगस्त में दिए थे दो विकल्प
केंद्र ने जीएसटी क्षतिपूर्ति को लेकर अगस्त में राज्यों को दो विकल्प दिए थे। पहला वह जीएसटी क्रियान्वयन के कारण राजस्व संग्रह में कमी को पूरा करने के लिये 97,000 करोड़ रुपये रिजर्व बैंक की विशेष खिड़की से ले या फिर कुल 2.35 लाख करोड़ रुपये (इसमें 1.38 लाख करोड़ रुपये कोविड संकट के कारण) बाजार से ऋण ले। इस राशि को संशोधित कर अब क्रमश: 1.10 लाख करोड़ रुपये और 1.8 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया है।