दिल्ली। विश्व स्वास्थ्य संगठन(डब्ल्यूएचओ) ने कहा है कि मंकीपॉक्स का प्रकोप बंदरों से जुड़ा हुआ नहीं है। ब्राजील में बंदरों पर बढ़ते हमले के बाद डब्लूएचओ को यह सफाई देनी पड़ी। ब्राजील अभी मंकीपॉक्स से सबसे अधिक प्रभावित देशों में से एक है, वहां एक व्यक्ति की मौत भी हुई है। मंकीपॉक्स से स्पेन और भारत में भी एक-एक मरीज की मौत हुई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की प्रवक्ता मार्गरेट हैरिस ने जिनेवा में कहा कि इस बीमारी के फैलने के लिए बंदरों को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है। लोगों को यह जानने की जरूरत है कि वायरस का जो प्रसार हो रहा है वह मनुष्यों के बीच हो रहा है। डब्ल्यूएचओ का यह बयान ब्राजीलियाई समाचार वेबसाइट जी1 द्वारा बनाई गई रिपोर्ट के बाद आया है जिसमें यह बताया गया था कि साओ पाउलो राज्य के साओ जोस डो रियो प्रेटो शहर में एक सप्ताह से भी कम समय में 10 बंदरों को जहर दे दिया गया।
ब्राजील के अन्य हिस्सों से भी इसी तरह की घटनाएं सामने आई हैं। हैरिस ने कहा कि मंकीपॉक्स वायरस जानवरों से मनुष्यों में फैल सकता है लेकिन फिलहाल यह ट्रांसमिशन मनुष्य से मनुष्य तक ही सीमित है। उन्होंने कहा कि चिंता इस बारे में होनी चाहिए कि मानव आबादी इस वायरस को फैलने से रोकने के लिए क्या कर सकता है? विश्व स्वास्थ्य संगठन की प्रवक्ता मार्गरेट हैरिस ने कहा कि लोगों को किसी भी जानवर पर हमला नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा कि संक्रमित कोई भी व्यक्ति इस संक्रमण को बढ़ा सकता है। किसी भी जानवर या किसी इंसान पर इसका इल्जाम न लगाएं क्योंकि अगर आप ऐसा करते हैं, तो इससे प्रसार की संभावनाएं और बढ़ेंगी।
पिछले महीने, डब्ल्यूएचओ ने यूरोप और अमेरिका के माध्यम से मौजूदा मंकीपॉक्स के प्रकोप को वैश्विक स्वास्थ्य आपातकाल के रूप में घोषित किया था। पैन अमेरिकन हेल्थ ऑर्गनाइजेशन ने पिछले हफ्ते कहा कि ब्राजील, अमेरिका और कनाडा अमेरिका में मंकीपॉक्स के प्रकोप से सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र हैं, जहां 5,000 से अधिक मामले सामने आए हैं।