अमेरिका वैज्ञानिक पीटर हॉटेज बोले- भारतीय टीके ने दुनिया को कोरोना वायरस से बचाया

अमेरिका के एक शीर्ष वैज्ञानिक ने कहा है कि भारत द्वारा वैश्विक संस्थानों के साथ मिलकर तैयार की गए कोविड टीके ने विश्व को कोरोना महामारी से उबारा है।

Update: 2021-05-25 01:46 GMT

अमेरिका के एक शीर्ष वैज्ञानिक ने कहा है कि भारत द्वारा वैश्विक संस्थानों के साथ मिलकर तैयार की गए कोविड टीके ने विश्व को कोरोना महामारी से उबारा है। उन्होंने कहा कि भारत के इस योगदान को कम करके नहीं आंकना चाहिए।

फॉर्मेसी ऑफ द वर्ल्ड है भारत'

ह्यूस्टन के बायलोर कॉलेज ऑफ मेडीसन में नेशनल स्कूल ऑफ ट्रोपिकल मेडीसन के डीन डॉक्टर पीटर हॉटेज ने एक वेबिनार में कहा कि विश्व में कोरोना वायरस को रोकने में भारत का कोविड टीका बहुत महत्वपूर्ण है। अंतर्राष्ट्रीय स्तर के वैज्ञानिक डॉक्टर हॉटेज ने कहा कि इस वैश्विक महामारी से निपटने में भारत के बड़े योगदान के बारे में विश्व को पूरी जानकारी नहीं मिल पा रही है। उन्होंने कहा कि महामारी के दौरान दवा के क्षेत्र में व्यापक अनुभव एवं ज्ञान के कारण भारत को 'फार्मेसी ऑफ द वर्ल्ड' कहा गया।

डॉ. पीटर होटेज ने कहा कि एमआरएनए के दो टीकों का दुनिया के कम एवं मध्यम आय वाले देशों पर प्रभाव नहीं पड़ता, लेकिन भारत के टीके ने 'दुनिया को बचाया' है और इसके योगदान को कमतर नहीं समझा जाना चाहिए।

भारत ने दिया वायरस से लड़ने का तोहफा

वेबिनार 'कोविड-19 : वैक्सीनेशन एंड पोटेंशियल रिटर्न टू नॉर्मल्सी– इफ एंड व्हेन' में डॉ. होटेज ने कहा कि कोविड-19 के टीके का विकास वायरस से लड़ने में दुनिया को 'भारत का तोहफा' है। वेबिनार का आयोजन इंडो अमेरिकन चैंबर ऑफ कॉमर्स ऑफ ग्रेटर ह्यूस्टन (IACCGH) द्वारा किया गया था।

डॉ. होटेज ने कहा कि 'यह बहुत खास है और मैं इसे स्वयं देख रहा हूं क्योंकि मैं भारत में हमारे सहयोगियों के साथ साप्ताहिक टेली काॉन्फ्रेंस पर हूं, आप एक सिफारिश करते हैं, और कुछ दिनों के भीतर आपको वैक्सीन उपलब्ध करा दिया जाता है और यह न केवल किया जाता है, बल्कि यह अच्छी तरह से और अविश्वसनीय दृढ़ता, विचार और रचनात्मकता के साथ किया जाता है।' डॉ होटेज ने कहा, उन्हें यह बयान देने के लिए मजबूर नहीं किया गया बल्कि महसूस किया क्योंकि 'वैश्विक महामारी से निपटने में भारत के विशाल प्रयास की यह एक ऐसी कहानी है जिसके बारे में वास्तव में दुनिया के लोगों को पूरी जानकारी नहीं है।'

डॉ होटेज, जिन्हें टीकाकरण को प्रमाणित करने के लिए जाता है, भारतीय दवा कंपनियों के सहयोग से एक किफायती कोरोना वायरस वैक्सीन पर काम किया है। उन्होंने कहा कि इस बात के प्रमाण बढ़ रहे हैं कि टीके न केवल 'रोगसूचक बीमारी को रोकते हैं और आपको अस्पताल से बाहर रखते हैं' बल्कि एसिम्पटोमेटिक संचरण को भी रोकते हैं।

पहले अमेरिका ने बताया था सच्चा मित्र

इससे पहले अमेरिका ने भारत की तारीफ करते हुए सच्चा दोस्त बताया था। अमेरिका ने कहा था कि वह वैश्विक समुदाय की मदद करने के लिए अपने दवा क्षेत्र का उपयोग कर रहा है। बता दें कि भारत ने कोविड-19 टीकों की खेप भूटान, मालदीव, नेपाल, बांग्लादेश, म्यामांर, मॉरीशस और सेशेल्स को मदद के रूप में भेज चुका है। सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, ब्राजील और मोरक्को को ये टीके व्यावसायिक आपूर्ति के रूप में भेजे गए हैं।


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