वाशिंगटन/सोल: उत्तर कोरिया ने रूस को तोपें भेजना शुरू कर दिया है। दरअसल, पिछले महीने राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और प्योंगयांग के किम जोंग-उन के बीच हथियार सौदे पर शिखर वार्ता हुई थी। एक अनाम अमेरिकी अधिकारी का हवाला देते हुए, सीबीएस न्यूज ने पिछले महीने रूसी अंतरिक्ष बंदरगाह वोस्तोचन कोस्मोड्रोम में किम-पुतिन शिखर सम्मेलन के दौरान हथियार के ट्रांसफर पर रिपोर्ट की थी।
समाचार एजेंसी योनहाप की रिपोर्ट के अनुसार, शिखर सम्मेलन ने अटकलें लगाईं कि इससे उत्तर कोरिया के जासूसी सैटेलाइट और अन्य हथियारों के निर्माण के प्रयासों को आगे बढ़ाने और बदले में यूक्रेन में रूस के युद्ध को बढ़ावा देने के लिए एक समझौता हो सकता है।
रिपोर्ट में कहा गया है, "यह स्पष्ट नहीं था कि ट्रांसफर नई, लॉन्ग टर्म सप्लाई चेन का हिस्सा है या अधिक सीमित खेप का, या उत्तर कोरिया को हथियारों के बदले में क्या मिल रहा है।"
दक्षिण कोरिया और अमेरिका ने प्योंगयांग और मॉस्को के बीच हथियारों के किसी भी संभावित हस्तांतरण की आलोचना की है। साथ ही चेतावनी दी है कि वे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के कई प्रस्तावों का उल्लंघन करेंगे, जिसके लिए रूस ने खुद मतदान किया था। सत्ता संभालने के बाद किम की यह सबसे लंबी विदेश यात्रा थी। यात्रा समय सहित, उत्तर कोरियाई नेता ने अपनी रूस यात्रा पर कुल आठ दिन बिताए।