दक्षिण कोरिया में आया मंकीपाक्स का पहला मामला, राष्ट्रपति ने दिए सख्त निगरानी के निर्देश

दक्षिण कोरिया ने बुधवार को मंकीपाक्स वायरस से पहले मामले की पुष्टि की।

Update: 2022-06-23 01:09 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। दक्षिण कोरिया ने बुधवार को मंकीपाक्स वायरस से पहले मामले की पुष्टि की। इसके बाद इस संक्रामक बीमारी से निपटने के लिए कोरिया रोग नियंत्रण रोकथाम एजेंसी(केडीसीए) ने स्वास्थ्य प्रणाली को मजबूत करने का संकेत दिया है। केडीसीए ने कहा कि एक कोरियाई नागरिक जो मंगलवार दोपहर को जर्मनी से लौटा था, उसमें मंकीपाक्स के लक्षण देखे गए। इंचियोन मेडिकल सेंटर में उसका टेस्ट पाजिटिव आया जिसके बाद उसका इलाज चल रहा है।

केडीसीए ने वायरस की पुष्टि होने के बाद चौतरफा अलर्ट जारी कर दिया है, वहीं दूसरे देशों से आने वाले लोगों की आवाजाही पर निगरानी बढ़ा दी है। उन लोगों पर निगरानी अधिक है जो ऐसे देशों से आ रहे हैं जिन देशों में मंकीपाक्स के मामले बहुत हैं।
केडीसीए के कमिश्नर पेक ने कहा कि मंकीपाक्स से रोकथाम के लिए टीकों और उपचारों पर जोर दिया जा रहा है। वहीं केडीसीए नैदानिक परीक्षण की क्षमताओं का भी विस्तार कर रहा है। पेक ने कहा कि मंकीपाक्स से पाजिटिव लोगों के सम्पर्क में जो लोग आए हैं उनका भी परीक्षण किया जा रहा है, साथ ही जिनकी स्थिति वायरस के चलते नाजुक होगी उन्हें उनकी सहमति से टीका भी लगाया जाएगा।
बुधवार को केडीसीए ने मंकीपाक्स वायरस के दो संदिग्ध मामलों की सूचना दी थी। जिसमें दूसरा संदिग्ध विदेशी नागरिक था जो सोमवार को कोरिया आया। जिसके शरीर पर फफोले और गले में खराश थी मगर जब इसका परीक्षण हुआ तो नेगेटिव पाया गया।
बुधवार को कोरिया के राष्ट्रपति यूं सुक योल ने स्वास्थ्य प्राधिकरण को सख्त निर्देश दिया है कि बाहर से आने वाले संदिग्ध लोगों के लिए हवाई अड्डों पर ही उपचार और टीकों की सुविधा दी जाए।
राष्ट्रपति योल ने मंकीपाक्स के खिलाफ तीसरी पीढ़ी के टीके और एंटीवायरल दवाओं में भी तेजी लाने को कहा। जून में ही दक्षिण कोरिया ने चार स्तरीय प्रणाली के अनुसार मंकीपाक्स को दूसरी डिग्री का संक्रामक रोग घोषित किया था। जिसमें कोविड-19, हैजा, चिकनपाक्स सहित 22 संक्रामक रोगों को एक ही श्रेणी में शामिल किया था।
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