अमेरिका में भी भारी पड़ रहा डेल्टा का कहर, फिर तेजी से बढ़ने लगे हैं कोरोना के मामले
अमेरिका में कोरोना महामारी के दौनिक मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। डेल्टा वैरिएंट को संक्रमण की मुख्य वजह बताई जा रही है
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। अमेरिका में कोरोना महामारी के दौनिक मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। डेल्टा वैरिएंट को संक्रमण की मुख्य वजह बताई जा रही है। देश के जिन हिस्सों में टीकाकरण की रफ्तार कम है, उन हिस्सों से सबसे अधिक 90 प्रतिशत मामले मिल रहे हैं। व्हाइट हाउस के नए आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका में कोविड के अस्पताल में भर्ती होने और मौतों में लगभग सभी 97 प्रतिशत मामले बिना टीकाकरण वाले लोगों के हैं। अमेरिका के कुल कोरोना संक्रमण मामलों में से 40 प्रतिशत मामले तीन राज्यों फ्लोरिडा, टेक्सास और मिसौरी से हैं।
रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (सीडीसी) के निदेशक रोशेल वालेंस्की ने व्हाइट हाउस ब्रीफिंग में संवाददाताओं से कहा डेल्टा वैरिएंट अपनी पूरी क्षमता से देश भर में फैल रहा है। अब अमेरिका में कोरोना वायरस फैलने के लिए 83 प्रतिशत से अधिक डेल्टा वैरिएंट जिम्मेदार है। रोशेल वालेंस्की ने डेल्टी वैरिएंट के प्रति लोगों को चेतावनी देते हुए कहा कि यदि आपको टीका नहीं लगाया गया है, तो कृपया आप लोग डेल्टा वैरिएंट को गंभीरता से लें। यह वैरिएंट हर वक्त कमजोर लोगों की तलाश में रहता है। उन्होंने डेल्टा वैरिएंट को सबसे संक्रामक श्वसन वायरस में से एक कहा, जिसे उन्हेोंने अपने 20 साल के करियर में देखा है।
अमेरिका में लोगों का अस्पतालों में भर्ती होना अभी भी जारी है और पिछले एक महीने से यहां कोरोना संक्रमण के मामले लगातार तेजी से बढ़ रहे है। देश में डेल्टा वैरिएंट के 80 प्रतिशत तक फैलने की भविष्यवाणी की गई है, जबकि अन्य तीनों - अल्फा, गामा और बीटा के कुल मामले 9 प्रतिशत से नीचे रहने की भविष्यवाणी की गई है। एक मीडिया आउटलेट के सर्वेक्षण में पाया गया कि अमेरिका में 45 प्रतिशत लोग टीकाकरण नहीं करना चाहते हैं। सर्वेक्षण से पता चला था कि 64 प्रतिशत अमेरिकी नागरिकों को विश्वास नहीं है कि टीके वैरिएंट के खिलाफ प्रभावी हैं।
देश में 22 जुलाई तक 65 साल या उससे अधिक आयु के 89 प्रतिशत लोगों को टीके की कम से कम एक खुराक दी गई है और 80 प्रतिशत लोगों को पूरी तरह से टीका लगाए गए हैं। 18 साल या उससे अधिक आयु के लगभग 69 प्रतिशत लोगों को टीके की कम से कम एक खुराक दी गई है और 60 प्रतिशत लोगों को पूरी तरह से टीका लगाए जा चुके हैं। 12 साल या उससे अधिक उम्र के लोगों को 57 प्रतिशत पूरी तरह से टीका लगाया जा चुका है। देश में कोरोना से 610,000 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है।