भारत और मालदीव में देखा गया चीनी रॉकेट का मलबा, नासा ने अंतरिक्ष कार्यक्रम को लेकर ड्रैगन को लगाई फटकार
पूरी दुनिया के लिए चिंता का विषय बना 18 टन वजनी चीनी रॉकेट शनिवार शाम को मालदीव के पास हिंद महासागर में गिर गया
वॉशिंगटन: पूरी दुनिया के लिए चिंता का विषय बना 18 टन वजनी चीनी रॉकेट शनिवार शाम को मालदीव के पास हिंद महासागर में गिर गया। दावा किया जा रहा है कि इस विशालकाय रॉकेट का मलबा भारत तक देखा गया। इस बीच अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने अंतरिक्ष कार्यक्रम को लेकर चीन को कड़ी फटकार लगाई है। नासा ने कहा कि चीन जिम्मेदार मानकों का पालन करने में असफल रहा।
अमेरिकी अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि की है कि चीनी रॉकेट लॉन्ग मार्च 5बी का अनियंत्रित हुआ मलबा मालदीव के उत्तर में हिंद महासागर में गिर गया। भारत में भी कई लोगों ने इस रॉकेट को आकाश में गिरते देखने का दावा किया है। इस रॉकेट के अनियंत्रित होने के बाद इसके दुनिया में कहीं भी गिरने की आशंका जताई जा रही थी। नासा प्रशासन के बिल नेल्सन ने चीन की कड़ी आलोचना की और जोर देकर कहा कि यह 'जरूरी' है कि चीन और अन्य देश अंतरिक्ष में 'जिम्मेदारी और पारदर्शिता' के साथ काम करें।
चीनी रॉकेट को 10 और अंतरिक्ष मिशन पर रवाना होना है
नेल्सन ने एक बयान जारी करके कहा कि अंतरिक्ष में गतिविधियां चलाने वाले देशों को स्पेस ऑब्जेक्ट के फिर से धरती के वातावरण में इंट्री के दौरान पृथ्वी पर जान और माल के नुकसान के खतरे को कम से कम करने पर काम करना चाहिए। साथ ही अंतरिक्ष में इन अभियानों को लेकर और ज्यादा पारदर्शिता बरतनी चाहिए। उन्होंने कहा, 'यह स्पष्ट है कि चीन अंतरिक्ष से आने वाले मलबे को लेकर मानक पूरा करने में असफल रहा है।'
चीन के अंतरिक्ष स्टेशन को बनाने के लिए अभी चीनी रॉकेट को 10 और अंतरिक्ष मिशन पर रवाना होना है। ऐसे में नासा की यह चेतावनी काफी अहम मानी जा रही है। ऐसा पहली बार नहीं हुआ है जब चीन का रॉकेट अंतरिक्ष में अनियंत्रित हुआ है। इससे पहले मई 2020 में लॉन्ग मार्च 5बी रॉकेट का मुख्य हिस्सा अनियंत्रित हो गया था और अटलांटिक महासागर के ऊपर उसका मलबा गिरा था। नासा ने चीनी रॉकेट के इस हादसे को वास्तविक रूप से खतरनाक बताया था। गिरने से पहले यह रॉकेट अमेरिका के लॉस एंजीलिस और न्यूयॉर्क शहर के ऊपर से गुजरा था।