अमेरिका ने बनाई नई हाइपरसोनिक मिसाइल, रूस-चीन तक मचा सकती है तबाही
अमेरिका ने रूस-चीन के साथ जारी तकरार के बीच एयर-ब्रीथिंग हाइपरसोनिक हथियार की सफल टेस्टिंग की है.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। अमेरिका (America) ने रूस-चीन के साथ जारी तकरार के बीच एयर-ब्रीथिंग हाइपरसोनिक हथियार (Hypersonic Weapons) की सफल टेस्टिंग की है. पेंटागन (Pentagon) ने सोमवार को इसकी जानकारी दी. पेंटागन के मुताबिक ये हथियार ध्वनि से 5 गुना ज्यादा की गति रखता है. अमेरिका के 2013 के बाद से ही ऐसा टेस्ट करने की कोशिश में था, अब जाकर इसमें कामयाबी मिल पाई है.
पेंटागन ने जानकारी दी है कि हाइपरसोनिक एयर ब्रीथिंग वेपन कॉन्सेप्ट टेस्ट पिछले हफ्ते किया गया है. इस टेस्ट के साथ हम नई पीढ़ी की ओर बढ़ रहे हैं. अमेरिकी मिलिट्री की ताकत को मजबूत कर रहे हैं. अमेरिका इस साल के अंत तक ऐसे ही और टेस्ट करने की तैयारी में है. हाइपरसोनिक हथियार एक घंटे में करीब 6200 किमी. की दूरी तय करते हैं.
बता दें कि अमेरिका से पहले इसी साल जुलाई में रूस (Russia) ने Zircon हाइपरसोनिक क्रूज़ मिसाइल का टेस्ट किया था, जिसे रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का प्रोजेक्ट कहा गया.
2700 किलोमीटर तक है मारक क्षमता
रेडार की पकड़ में नहीं आने वाली इस नई अमेरिकी मिसाइल की मारक क्षमता 2700 किलोमीटर है. इस मिसाइल के साथ ही अमेरिका अब रूस और चीन पर दूर से ही भीषण हमला करने में सक्षम हो गया है.
चीन के सैन्य अड्डे तक हमला करने में सक्षम
इसके जरिए दक्षिण चीन सागर और चीन के हैनान द्वीप समूह पर स्थित सैनिक ठिकाने या चीन की मुख्य भूमि पर जोरदार हमला किया जा सकता है. अमेरिकी नौसेना अपनी हाइपरसोनिक मिसाइल को सभी 69 ड्रिस्ट्रायरों पर तैनात करेगी. विशेषज्ञों का कहना है कि यह मिसाइल दुश्मनों के लिए युद्ध के समय काल का काम करेगी. इतनी रेंज के साथ इस मिसाइल को अब प्रशांत महासागर में दक्षिण कोरिया, ताइवान, जापान या फिलीपीन्स कहीं भी तैनात किया जा सकता है.
अमेरिका अब अपनी मिसाइल को 3 लाख वर्ग मील के इलाके में कहीं भी छिपा सकता है. अगर इस मिसाइल को लंदन शहर में तैनात कर दिया जाए तो इससे आसानी से रूस के पूर्वी इलाके तक को निशाना बनाया जा सकता है.