इस पाकिस्तानी ने भारत में आकर बरपाया था गेंदबाजी का कहर, अब हुआ मोहताज
भारत के खिलाफ किया पदार्पण
पाकिस्तान क्रिकेट टीम के साथ भारत दौर पर आकर अपनी गेंदबाजी से सभी को प्रभावित करने के वाले पूर्व खिलाड़ी एहतशामुद्दीन इस समय जीवन के मुश्किल पड़ाव से गुजर रहे हैं. पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक पाकिस्तान क्रिकेट टीम से ताल्लुक रखने वाले एहतशामुद्दीन विकलांग हो गए हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक इमरान खान के कार्यकाल में क्रिकेट में शानदार गेंदबाजी करने वाले एहतशामुद्दीन अपनी बीमारी के चलते चल नहीं पा रहे हैं.इस संबंध में उनके डॉक्टरों का कहना है कि एहतशामुद्दीन की तबीयत खराब होने की असली वजह अभी पता नहीं चल पाई है.
70 साल के एहतशामुद्दीन ने अपने करियर में पांच टेस्ट में पाकिस्तान का प्रतिनिधित्व किया है, लेकिन एहतशामुद्दीन क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद से कोचिंग में शामिल हैं.
भारत के खिलाफ किया पदार्पण
एहतशामुद्दीन ने 21 नवंबर 1979 को बेंगलुरू में भारत के खिलाफ खेले गए टेस्ट मैच से पदार्पण किया था. उन्होंने अपने पहले टेस्ट मैच की पहली पारी में दो विकेट लिए थे जिसमें गुणप्पा विश्वनाथ और सैयद किरमानी के विकेट शामिल थे. यह मैच ड्रॉ रहा था. इस दौरे पर एहतशामुद्दीन के छह में से तीन मैचों में खेलने का मौका मिला. एहतशामुद्दीन ने इन तीन मैचों में कुल 14 विकेट अपने नाम किए. कानपुर में खेले गए चौथे टेस्ट मैच में उन्होंने पहली पारी में 47 रन देकर पांच विकेट लिए. उन्होंने अपने साथी गेंदबाज सिकंदर बख्त के साथ मिलकर पारी में 10 विकेट लिए.
अंतिम समय टीम में हुए शामिल
भारत दौरे के बाद उन्होंने घर में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेली गई सीरीज में भी एक मैच खेला. उनका आखिरी टेस्ट 1982 में इंग्लैंड के खिलाफ हेडिंग्ले में था. इस मैच में आखिरी समय उन्हें टीम में शामिल किया गया. उस समय वे बोल्टन एसोसिएशन में डेजी हिल में क्लब क्रिकेट खेल रहे थे. पाकिस्तन टीम उस समय इंग्लैंड दौरे पर थी और चोटों से परेशान थी. एहतशामुद्दीन अनफिट थे. उन्होंने इंग्लैंड का पहला विकेट लिया. उस मैच में उन्होंन कुल 14 ओवर फेंके. यहां उन्हें मांसपेशियों में खिंचाव की शिकायत हो गई और इसी कारण वह दोबारा गेंदबाजी नहीं कर पाए. इसके बाद वह दोबारा टेस्ट क्रिकेट नहीं खेले. अपने पांच मैचों के टेस्ट करियर में उन्होंने 16 विकेट लिए.