भारतीय बल्लेबाजों के लिए रवि शास्त्री का 3 सूत्री फॉर्मूला, विराट के शतक का खत्म करेगा इंतजार
टीम इंडिया के हेड कोच रवि शास्त्री ने अपने बल्लेबाजों को सैंकड़ा बनाते देखने के लिए ‘3 सूत्री फॉर्मूला’ इजाद किया है
कहा जाता है कि टेस्ट मैच बल्लेबाज नहीं गेंदबाज जिताते हैं. सही कहते हैं. आखिर 20 विकेट लेकर ही तो मैच जीतेंगे. लेकिन, एक सवाल है. उन विकेटों को लेने वाले गेंदबाजों के लिए स्कोर बोर्ड पर रन भी तो टांगने होंगे. और, ये काम तो बल्लेबाज ही करेगा. भारतीय बल्लेबाजों में गजब की प्रतिभा है. उन्होंने शतक भी एक नहीं कई जड़े हैं. लेकिन, ये भी उतना ही बड़ा सच है कि लंबे वक्त से उन्होंने ऐसा करके नहीं दिखाया है. ऐसे में टीम इंडिया के हेड कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) ने अपने बल्लेबाजों को सैंकड़ा बनाते देखने के लिए '3 सूत्री फॉर्मूला' इजाद किया है.
शास्त्री का ये फॉर्मूला क्या है. उसके क्या फायदे होंगे. ये बताएं, उससे पहले भारतीय बल्लेबाजों पर एक नजर डालते हैं कि कौन कौन से ऐसे बल्लेबाज हैं, जिन्हें टेस्ट में शतक जमाए वक्त बीत गया. विराट कोहली (Virat Kohli), इनका तो शतक ही राष्ट्रीय सवाल बन गया है. आखिरी बार इन्होंने 13 पारियों पहले शतक जड़ा था. शुभमन गिल, ओपनर हैं और टेस्ट क्रिकेट में पहले शतक के इंतजार में हैं. अजिंक्य रहाणे (Ajinkya Rahane), पिछली 50 पारियों में सिर्फ 3 शतक. रोहित को छोड़ दें तो हर बल्लेबाज को शतक जड़े अच्छा खासा वक्त बीत चुका है.
भारतीय बल्लेबाजों के लिए शास्त्री का फॉर्मूला
भारत का इंग्लैंड दौरा उसके दोहरे मिशन की तरह है. पहले न्यूजीलैंड से वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप और फिर मेजबानों से 5 टेस्ट की सीरीज. इन दोनों में फतह के लिए बल्लेबाजों का बड़ी पारी खेलना जरूरी है. भारतीय बल्लेबाजों के सामने इंग्लैंड के कंडीशन में घूमती गेंदें एक बड़ी समस्या रही है. ऐसे माहौल को हैंडल करने और उसमें आराम से खेलकर शतक की दहलीज लांघने के लिए हेड कोच रवि शास्त्री ने ट्रिपल एक्शन फॉर्मूला बनाया है.
ये '3 तरीके' करेंगे विराट के शतक का इंतजार खत्म!
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार इंग्लैंड में भारतीय बल्लेबाजों से उनका बेस्ट निकलवाने के लिए रवि शास्त्री 3 तरीकों पर काम करेंगे.
पहला, पिच की लंबाई को कम करेंगे. मसलन 22 गज की जगह 16 गज की पिच का इस्तेमाल नेट प्रैक्टिस में होगा. इससे बल्लेबाजों को कम समय में गेंद को पढ़ना आएगा और उस पर उतनी ही तेजी से वो रिएक्ट करेगा.
दूसरा, नेट्स पर पहले से ही चमकती हुई गेंद इस्तेमाल में लाई जाएगी. ताकि बल्लेबाजों को ये पता चल सके कि कब गेंद पर प्रहार करना है और कब उसे छोड़ना है.
तीसरा, गेंद को छोड़ने की कला को धार देना होगा. ऐसा करने से बल्लेबाज को मैच के दौरान हालात और फील्ड के मिजाज से तालमेल बिठाने में मदद मिलेगी.