अक्षर पटेल का भारत की जीत में बड़ा योगदान, ट्रायल के लिए आते थे मोटेरा
अक्षर पटेल (Axar Patel) ने भारतीय क्रिकेट टीम (Indian Cricket Team) के लिए अभी सिर्फ दो टेस्ट मैच खेले हैं. लेकिन इन दो टेस्ट मैचों में ही उन्होंने भारत की जीत में बड़ा योगदान दिया है
अक्षर पटेल (Axar Patel) ने भारतीय क्रिकेट टीम (Indian Cricket Team) के लिए अभी सिर्फ दो टेस्ट मैच खेले हैं. लेकिन इन दो टेस्ट मैचों में ही उन्होंने भारत की जीत में बड़ा योगदान दिया है. इंग्लैंड (England) के खिलाफ अहमदाबाद में खेले गए डे-नाइट टेस्ट (Day-Night Test) मैच में तो उन्होंने दोनो पारियों में मिलाकर 11 विकेट लिए थे और मैन ऑफ द मैच चुन गए थे. अब भारत के पूर्व स्पिनर और मोटेरा स्टेडियम के पिच क्यूरेटर रह चुके धीरज प्रसन्ना ने अक्षर के पुराने दिनों को याद किया है.
अक्षर ने इसी सीरीज में चेन्नई में खेले गए दूसरे मैच से टेस्ट पदार्पण किया था. उस मैच की दूसरी पारी में अक्षर ने पांच विकेट लिए थे और फिर अहमदाबाद टेस्ट मैच में भी अपनी फॉर्म को जारी ऱखा था. पहली पारी में उन्होंने छह विकेट लिए थे जबकि दूसरी पारी में पांच विकेट अपने नाम किए थे.
ट्रायल के लिए आते थे मोटेरा
भारत के लिए दो टेस्ट मैच खेलने वाले प्रसन्ना ने कहा है कि समय के साथ सीमित ओवरों के क्रिकेट में ढलने और राइट आर्म गेंदबाजी स्टाइल में बदलाव के कारण उन्हें टेस्ट क्रिकेट में काफी मदद मिली है. प्रसन्ना ने कहा, " वह अलग है (जो हम थे या अन्य दूसरों से). अक्षर टी20 और 50 ओवर के मैचों में खेल रहे हैं. उन्होंने तीनों प्रारूप खेले हैं. लेकिन मुझे याद है कि जब वह मोटेरा में ट्रायल के लिए आते थे और गुजरात के लिए जूनियर क्रिकेट खेलते थे तब अधिक हाइट होने के बावजूद उनके पास एक अच्छा एक्शन था. लेकिन अब वह थोड़ा साइड आर्म के साथ गेंदबाजी कर रहे हैं, जिससे उन्हें मदद मिली है. वह बहुत इंटलीजेंट गेंदबाज है. अपनी ऊंचाई के कारण वह गेंद को बहुत अधिक फ्लाइट नहीं दे।"
उनकी तरह नहीं कर सकते गेंदबाजी
73 साल के प्रसन्ना 1997 से 2018 तक बीसीसीआई के मुख्य क्यूरेटर (वेस्टजोन) और फिर 1982 से 2018 तक अहमदाबाद के मुख्य क्यूरेटर रह चुके हैं. उन्होंने कहा, "अधिकतर गेंदबाज टर्निग ट्रैक पर उनकी तरह सीधी गेंदबाजी नहीं कर सकते. ऑर्म बॉल, जिसे वह अच्छी तरह से गेंदबाजी करते है, बाएं हाथ के स्पिनर का हथियार है. जब आप आर्म-बॉल फेंकते हैं तो आप बल्लेबाज को बैक-फुट पर खेलाते हैं. यह अचानक आता है. इसलिए उनके पास गेंदबाजी या एलबीडब्लू लेने का एक बड़ा मौका है. अक्षर जानते थे कि वे (इंग्लैंड के खिलाड़ी) स्पिनरों के खिलाफ संघर्ष कर रहे हैं। इसलिए उन्होंने अपनी आर्म बॉल के साथ उन्हें अपनी जाल में फंसाया"
चौथे टेस्ट का है इंतजार
तीसरा टेस्ट मैच भारत ने 10 विकेट से जीता था. लेकिन इस मैच की पिच को लेकर काफी विवाद हुआ है. इस पिच पर स्पिनरों को मदद मिल रही थी, आलम यह था कि इंग्लैंड के कप्तान जोए रूट जो पार्ट टाइम ऑफ स्पिन करते हैं वह पांच विकेट लेने में सफल रहे थे. अब चौथा मैच भी इसी मैदान पर खेला जाना है और उम्मीद है कि चौथे टेस्ट मैच में भी इसी तरह की स्पिनरों की मददगार पिच होगी.ओ